इंदौर। कांग्रेस ने आज आरोप लगाया कि मध्यप्रदेश में सत्तारुढ़ भाजपा के कल 25 सितंबर को भोपाल में आयोजित कार्यकर्ता महाकुंभ के लिये इंदौर में 10,000 बुर्के सिलवाये गये और इन पोशाकों का भुगतान एक रीयल एस्टेट कम्पनी के निदेशक से कराया गया.
कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने यहां रेजिडेंसी कोठी में संवाददाताओं से कहा, ‘‘भाजपा के कार्यकर्ता महाकुंभ के वास्ते इन 10,000 बुर्कों की आपूर्ति के लिये भोपाल की रीयल एस्टेट कम्पनी दिलीप बिल्डकॉन के निदेशक देवेंद्र जैन ने खुद इंदौर आकर जीनत टेलर्स को बतौर पेशगी 42 लाख रुपये का भुगतान किया।
इन बुर्कों के लिये जीनत टेलर्स ने कुल 44 लाख 60 हजार रुपये का बिल जारी किया.’’ उन्होंने अपने इस आरोप के समर्थन में इंदौर के शीतलामाता बाजार स्थित जीनत टेलर्स का 23 अगस्त को जारी कथित बिल भी मीडिया के सामने पेश किया.
दिग्विजय ने कहा कि भाजपा के कार्यकर्ता महाकुंभ के लिये बुर्के की आपूर्ति के संबंध में दिलीप बिल्डकॉन के निदेशक द्वारा किये गये भुगतान से समझा जा सकता है कि प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और इस रीयल एस्टेट कम्पनी के बीच क्या रिश्ते हैं. प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि आयकर विभाग ने जब जून 2012 में दिलीप बिल्डकॉन के प्रबंध निदेशक दिलीप सूर्यवंशी के ठिकानों पर छापामार कार्रवाई की, तब इस मुहिम के दौरान जैन के ठिकाने पर भी छापा मारा गया था.
दिग्विजय ने कहा, ‘‘सारे प्रमाण आपके सामने हैं. हम कल देखेंगे कि भाजपा के कार्यकर्ता महाकुंभ में कितनी बुर्काधारी महिलाएं आती हैं.’’ भाजपा के बहुप्रचारित कार्यकर्ता महाकुंभ के लिये प्रदेशभर में बडे पैमाने पर तैयारियां की गयी हैं. इस सम्मेलन में भाजपा के शीर्ष नेता लालकृष्ण आडवाणी और पार्टी के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के भी शामिल होने का कार्यक्रम है.
इस बीच, केंद्रीय उर्जा राज्य मंत्री और प्रदेश में कांग्रेस की विधानसभा चुनाव अभियान समिति के अध्यक्ष ज्योतिरादित्य सिंधिया ने भी बुर्का प्रकरण में मुख्यमंत्री पर निशाना साधा. उन्होंने कहा, ‘‘शिवराज कल राष्ट्रीय एकता परिषद (एनआईसी) की बैठक में बड़ी.बड़ी बातें कर रहे थे. लेकिन 25 सितंबर को भाजपा की भोपाल में आयोजित रैली के लिये हजारों बुर्के सिलवाये जा रहे हैं. इससे साबित होता है कि भाजपा के मन में द्वेष है. अब भाजपा का मुखौटा कांग्रेस नहीं, बल्कि खुद जनता उतारेगी.’’
प्रदेश में नवंबर में होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले बुर्का प्रकरण में कांग्रेस के लगाये गये आरोपों को मुख्यमंत्री की धर्मनिरपेक्ष छवि पर सवाल उठाने की कवायद के रुप में देखा जा रहा है. शिवराज के पिछली ईद पर एक कार्यक्रम में टोपी पहनने से सूबे की सियासत पहले ही गरमा चुकी है. तब कांग्रेस ने शिवराज के टोपी पहनने को भाजपा की सियासी नौटंकी करार देकर इसकी तीखी आलोचना की थी.