भोपाल। मध्यप्रदेश में इन्वेस्टर्स का पुराना एड्रेस और बिल्डर्स का स्वर्ग कोलार इन दिनों शहर नहीं बिल्डर्स के प्रोजेक्ट्स खेत नजर आता है। जहां तहां बेइंतिहा निर्माण कार्य चल रहे हैं, लेकिन समस्या यह है कि सरकारी ऐजेंन्सियां उनकी ओर देख ही नहीं रहीं हैं। पजेशन के बाद कार्रवाई मुश्किल हो जाएगी।
उपनगर कोलार में बिल्डरों द्वारा परमीशन के विपरीत किए जा रहे निर्माण कार्य को रोकने में नपा प्रशासन पूरी तरह नाकाम साबित हो रहा है। जिसके हालात यह हैं कि बिल्डर और कालोनाइजर अनुमति के विपरीत वेधड़क निर्माण कार्य कर रहे हैं। ऐसे में लोगों का कहना है कि या तो नपा प्रशासन के अधिकारी निर्माण अनुमति जारी करने के बाद मौका मुआयना नहीं कर रहे हैं या फिर अवैध निर्माण कार्य उनकी छत्रछाया में ही किया जा रहा है।
सूत्र बताते हैं कि उपनगर कोलार में किए जा रहे कुछ निर्माण कार्य को रुकवाने के संबंध में स्पष्ट आदेश भी सहकारिता विभाग की ओर से नपा प्रशासन को भेजे जा चुके हें लेकिन बावजूद इसके निर्माण कार्य वेधड़क जारी हैं, इससे साफ हो जाता है कि अवैध निर्माण कार्यो में नपा प्रशासन के अधिकारी और कर्मचारियों की मिलीभगत शामिल है।
लोगों का कहना है कि नपा प्रशासन द्वारा कलियासोत नदी के कैचमेंट एरिया में हो रहे निर्माण कार्य को रोकने का प्रयास ही नहीं किया जा रहा है । वहीं निर्माण कर्ताओं का कहना है कि उन्होंने निर्माण कार्य की परमीशन ली है , जानकारों का कहना है कि कुछ बिल्डरों द्वारा निर्माण कार्य के लिए पालिका में परमीशन के वक्त कुछ और नक्शा और जगह दर्शाई जाती है जबकि निर्माण के समय कुछ और नक्शा उपयोग किया जा रहा है। ऐसे में यदि नपा प्रशासन के अधिकारी निर्माण कार्य का मौका मुआयना करें तो अवैध निर्माण सामने आएंगे जिनके खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है।
जानकार बताते हैं कि सर्वधर्म इलाके में कलियासोत नदी के किनारे पंचायत काल में पहले ही भारी संख्या में इमारतों का निर्माण हो चुका है यदि अब भी निर्माण कार्य को नहीं रोका गया तो नदी की सुरक्षा को भारी खतरा उत्पन्न हो रहा है,वहीं नदी किनारे बनी ज्यादातर इमारतें खतरे में हैं।