भोपाल। प्रदेश के विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्री श्री भूपेन्द्र सिंह ने अफसरों को निर्देश दिए हैं कि वो प्रदेश के सारे कलेक्टरों से पूछें कि उनके यहां कितनी सरकारी जमीन है ताकि उसका उपयोग किया जा सके।
उन्होंने कहा है कि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद के वैज्ञानिक तथा उपलब्ध संसाधनों का उपयोग प्रदेश के विकास और जन-कल्याण में किया जा रहा है।
कृषि, शिक्षा, पेयजल, स्वास्थ्य, कौशल विकास, खाद्य प्र-संस्करण आदि के क्षेत्र में परिषद द्वारा किए जाने वाले कार्यों से प्रगति की अपार संभावनाएँ हैं। श्री सिंह ने आज विज्ञान भवन पहुँचकर महानिदेशक तथा वैज्ञानिकों के साथ बैठक में परिषद की गतिविधियों की जानकारी ली और वहाँ स्थापित प्रयोगशालाओं का निरीक्षण भी किया।
श्री भूपेन्द्र सिंह ने निर्देश दिए कि विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद में डी.एन.ए. टेस्ट की व्यवस्था शीघ्र प्रारम्भ की जाय। उल्लेखनीय है कि प्रदेश में डी.एन.ए. टेस्ट के लिए केवल सागर में पुलिस की प्रयोगशाला संचालित है। उन्होंने कहा कि सभी जिला कलेक्टरों को पत्र लिखकर जिले में उपलब्ध शासकीय भूमि की जानकारी ली जाय और प्राप्त जानकारी के अनुरूप 3डी मेप तैयार किए जायें। उन्होंने कहा कि भविष्य में यह जानकारियाँ प्रदेश के औद्योगिक विकास में लाभदायी साबित होगी।
उन्होंने कहा कि परिषद द्वारा अधिकाधिक विज्ञान मेलों का आयोजन किया जाना चाहिए। उन्होंने प्रदेश के विद्यालयीन छात्र-छात्राओं को परिषद के माध्यम से प्रशिक्षण एवं रिसर्च की सुविधा पर सन्तोष व्यक्त करते हुए इसमें विद्यार्थियों की संख्या बढ़ाने के निर्देश दिए।
महानिदेशक प्रो. प्रमोद के. वर्मा ने प्रेजेन्टेशन के माध्यम से परिषद की गतिविधियों, उदेश्यों, उपलब्ध संसाधनों, बजट एवं अमले की जानकारी दी।