वीरेन्द्र खरे/लवकुशनगर। विकासखण्ड गौरिहार का ग्राम मनुरिया एक सप्ताह से स्वाइन फ्लू की चपेट में है। गांव के चार दर्जन से अधिक ग्रामीण इस बीमारी से पीड़ित है लेकिन ताज्जुब यह है कि स्वास्थ्य विभाग को खबर ही नहीं लगी। हालात बेकाबू होने पर मंगलवार को सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र से डा. पवन राठौर व डा. चेतन की अगुवाई में चलित अस्पताल मनुरिया पहुंचा तथा पीड़ित मरीजों की जांच शुरू हुई।
जानकारी के अनुसार ग्राम मनुरिया में एक सप्ताह पहले लोगों को सर्दी, जुकाम, खांसी, बुखार, घुटनों में असहनीय दर्द की शिकायत हुई। लोगों ने स्थनीय स्तर पर इलाज कराया लेकिन हालात सुधरने के बजाय और बिगड़ते गये तथा तेजी से पीडितों की संख्या बढ़ती गई, अंजाम यह हुआ कि एक घर से चार-चार लोग इस बीमारी की चपेट में आ गये। इलाज कराने के बावजूद हालत बिगड़ती गई। बाद में पता चला कि यह तो स्वाइन फ्लू का प्रकोप है। मंगलवार को ग्रामीणों ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र गौरिहार को स्थिति से अवगत कराया, तब कहीं विभाग की नींद टूटी और चलित अस्पताल पीड़ित ग्राम भेजा गया तथा डा. पवन राठौर व डा. चेतन ने अपनी टीम के साथ पहुंच कर मोर्चा संभाला, पीड़ितों का उपचार शुरू किया। हालांकि अभी इस कार्य में स्वास्थ्य टीम को कोई खास सफलता नहीं मिल सकी है।
यह आये चपेट में
स्वाइन फ्लू की चपेट में अब तक पप्पू सिंह परिहार, भागवती कोरी, हल्की कोरी, बरदानी कोरी, भजना कोरी, महेश सिंह, हल्के राजू, देवराज सिंह, श्रीमती कमलेश सिंह, पदम सिंह, करन सिंह, कामता सिंह, कपूर सिंह, सुरेन्द्र खरे, कल्लू सिंह राठौर, कुंदन सिंह सहित चार दर्जन से अधिक लोग आ चुके हैं तथा इनकी संख्या में तेजी से इजाफा हो रहा है।
नहीं होते रोकथाम के प्रबंध
इस पिछड़े अंचल में स्वास्थ्य विभाग, प्रशासन तथा ग्राम पंचायत की ओर से संक्रामक व मौसमी बीमारियों की रोकथाम के लिये कोई प्रयास नहीं किये जाते। न ही घरों में मच्छर मारने वाली दवाओं का छिडकाव होता है, नालियो पर व जलस्रोतों पर कीट नाशकों का प्रयोग नहीं किया जाता है। ग्रामीणों के अनुसार बीमारियों की रोकथाम के लिये टीकाकरण भी नहीं किया जाता। ताज्जुब की बात तो यह है कि यहां एमपीडब्ल्यू व एएनएम तैनात है लेकिन इन दिनों में उन्होने स्वास्थ्य केंद्र को इस बीमारी से अवगत नहीं कराया। अगर हम बात स्वास्थ्य विभाग की बात करें तो जब से यहां के खण्ड चिकित्साधिकारी का प्रभार डा. एस प्रजापति के हांथों में आया है, तब से स्वास्थ्य सेवायें बद से बदतर हो गई हैं। हालत यह है कि वे खुद ग्रह नगर बारीगढ़ में रहते हैं तथा सप्ताह में एक दो दिन ही कुछ घण्टों के लिये गौरिहार जाते हैं। ऐसी हालत में क्षेत्र के लोगों के स्वास्थ्य की रक्षा भगवान के भरोसे हैं।
बेकाबू हो सकते हैं हालात
प्रदेश में स्वाइन फ्लू ने अपनी दस्तक दे दी है, प्रदेश सरकार व स्वास्थ्य विभाग की ओर से इस खतरनाक बीमारी से बचाव के लिये लोगों को जागरूक करने कई कार्यक्रम चलाये जा रहे हैं तथा स्वास्थ्य अधिकारियों व कर्मियों को इस विषय में गंभीरता से काम करने के निर्देश दिये गये हैं। इसके बावजूद मनुरिया में इस रहस्यमय बीमारी के डेरा जमा लेने के बावजूद समय पर स्वास्थ्य विभाग सचेत नहीं हुआ।
इनका कहना है
गांव में तीन दर्जन लोग पीड़ित हैं, हमने 20 लोगों के खून की जांच की है, कुछ में मलेरिया के लक्षण तो कुछ में वायरल फीवर की शिकायत मिली है। हमने इलाज शुरू कर दिया है, स्थिति धीरे धीरे काबू मे आ रही है।
डा. पवन राठौर
चिकित्साधिकारी सरवई एवं टीम प्रभारी