नई दिल्ली। सरकार ने इस साल एक बड़े भर्ती अभियान के तहत 62,000 हजार युवक और युवतियों को कांस्टेबलों के रूप में अर्धसैनिक बल और पुलिस संगठनों में भर्ती करने की घोषणा की है.
पिछले पांच सालों के इस सबसे बड़े भर्ती अभियान के तहत केन्द्रीय गृह मंत्रालय सीआरपीएफ, बीएसएफ, आईटीबीपी, एसएसबी, सीआईएसएफ, एनआईए और एसएसएफ जैसे अर्ध सैनिक बलों में अभ्यर्थियों की भर्ती कर रहा है.
अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति और अति पिछड़ा वर्ग को आरक्षण के अलावा 2002 के गुजरात दंगों और 1984 के सिख दंगा पीड़ितों के बच्चों और आश्रितों को उम्र में रियायत प्रदान की जाएगी.
गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया ‘‘यह अभियान अर्धसैनिक और अन्य संबद्ध बलों में भर्ती के लिए केन्द्र सरकार के एक बड़े भर्ती अभियान का हिस्सा है. हाल के दिनों में इन बलों की बढ़ती भूमिका और बटालियनों की संख्या में वृद्धि की जरूरत को देखते हुये बड़ी संख्या में भर्ती की जा रही है.’’
अधिकारी ने बताया कि इसके लिए केन्द्रीय गृह मंत्रालय के निर्देशानुसार कर्मचारी चयन आयोग (एसएससी) द्वारा परीक्षा का आयोजन किया जाएगा.
कुल 62,390 पदों पर भर्ती की जाएगी जिसमें से लगभग 16 प्रतिशत या कुल 8,533 सीटें महिला प्रत्याशियों के लिए आरक्षित रखी गयी हैं.
देश के सबसे बडे अर्धसैनिक बल, केन्द्रीय रिजर्व पुलिस बल में सबसे अधिक 24,588 भर्तियां और सीमा सुरक्षा बल में 22,517 भर्तियां की जाएंगी.
इसके अलावा इस बार प्रमुख राष्ट्रीय जांच एजेन्सी (एनआईए) में भी 86 पदों पर कांस्टेबलों की भर्ती की जा रही है.
इन पदों के लिए एसएससी तीन स्तरीय शारीरिक परीक्षा, लिखित परीक्षा और चिकित्सा परीक्षण का आयोजन करेगी. दसवीं कक्षा तक पढ़ाई करने वाले और 18-23 साल उम्र के अभ्यर्थी इस परीक्षा के लिए पात्र हैं.