नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के व्यावसायिक परीक्षा मंडल (व्यापमं) घोटाले में कथित संलिप्तता को लेकर एसटीएफ द्वारा राज्यपाल रामनरेश यादव के खिलाफ एफआइआर दर्ज करने के बाद उन्होंने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। सूत्रों का कहना है कि उन्हें केंद्र सरकार ने इस्तीफा देने को कहा था और इसके लिए उन्हें बुधवार शाम तक का वक्त दिया गया था।
गौरतलब है कि राज्यपाल पर तीन उम्मीदवारों को वनरक्षक भर्ती परीक्षा में फर्जी तरीके से पास कराने का आरोप है। सभी के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम समेत अन्य धाराओं के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। हाई कोर्ट ने राज्यपाल सहित अतिविशिष्ट लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज करने के निर्देश दिए थे। एसटीएफ के डीएसपी डीएस बघेल ने एफआइआर दर्ज किए जाने की पुष्टि की है। बघेल के मुताबिक वनरक्षक भर्ती परीक्षा 2013 में गड़बडिय़ां करने वाले 87 अभ्यर्थियों सहित कुल 101 आरोपी बनाए गए हैं।
सूत्रों का दावा है कि केंद्रीय गृह सचिव ने राजभवन के प्रमुख सचिव विनोद सेमवाल को फोन कर प्रदेश के राजनीतिक हालात, संवैधानिक स्थितियां और राज्यपाल रामनरेश यादव के खिलाफ दर्ज हुए आपराधिक मुकदमे का ब्योरा लिया। केंद्रीय गृह सचिव ने प्रमुख सचिव को यह भी समझाया है कि वे राज्यपाल को इस्तीफा देने संबंधी केंद्र सरकार की सलाह उन्हें दें। इसके लिए आज शाम तक का वक्त दिया गया है। सूत्रों का यह भी कहना है कि यदि वह पद नहीं छोड़ते हैं तो केंद्र सरकार की सलाह पर राष्ट्रपति बर्खास्त कर सकते हैं।
इस बीच, भाजपा के वरिष्ठ नेता प्रभात झा ने कहा है कि राज्यपाल समझदार व्यक्ति हैं और उन्हें क्या करना है इसका फैसला वे अपने विवेक से लेंगे।