वर्ल्डकप लवर्स को सुप्रीम कोर्ट का गिफ्ट

नई दिल्ली। देश भर के क्रिकेट प्रेमी आईसीसी विश्व कप में भारत से जुड़े सभी मैच केबल नेटवर्क पर देख सकेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को इस सम्बंध में दिल्ली उच्च न्यायालय के उस फैसले पर रोक लगा दी, जिसमें उसने दूरदर्शन को स्टार टीवी से लाइव फीड हासिल करने पर रोक लगा दी थी। न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने दूरदर्शन द्वारा उच्च न्यायालय के चार फरवरी को आए फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई के दौरान यह फैसला सुनाया।

उच्च न्यायालय ने स्टार इंडिया लिमिटेड की याचिका को मंजूरी दी थी जिसके पास विश्व कप के प्रसारण के विशेषाधिकार हैं। इस याचिका पर अदालत ने प्रसार भारती को मैच के लाइव फीड निजी केबल आपरेटरों के साथ नहीं बांटने के निर्देश दिये थे। न्यायमूर्ति रंजन गोगोइ की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि उच्च न्यायालय के फैसले पर रोक का उसका आदेश तब तक प्रभावी रहेगा जब तक प्रसार भारती की याचिका पर उसका अंतिम फैसला नहीं आ जाता।

प्रसार भारती ने कल उच्चतम न्यायालय से कहा था कि विश्व कप क्रिकेट के मैचों के प्रसारण के लिये अलग चैनल शुरू करना संभव नहीं है। इससे पहले उच्चतम न्यायालय ने स्टार इंडिया लिमिटेड के कई सुझावों पर प्रसार भारती का जवाब मांगा। इसमें क्रिकेट मैचों के प्रसारण के लिये दूरदर्शन का नया चैनल खोलना शामिल था।

केंद्र और प्रसार भारती की ओर से अटार्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने न्यायालय को बताया कि खेल अधिनियम और केबल टीवी नेटवर्क अधिनियम के तहत निजी चैनल के लिये ‘राष्ट्रीय महत्व’ के मैचों के फीड प्रसार भारती के साथ बांटना अनिवार्य है जिससे कि दूरदर्शन उसे अपने निशुल्क चैनलों को मुहैया करा सके ।

इससे पहले उच्चतम न्यायालय ने दिल्ली उच्च न्यायालय के फैसले पर रोक लगा दी थी जिसमें उसने प्रसार भारती को केबल आपरेटरों के साथ क्रिकेट विश्व कप 2015 के मैचों के लाइव फीड बांटने से रोक दिया था । न्यायालय ने स्टार इंडिया, बीसीसीआई और प्रसार भारती से मामले के निपटान के लिये सुझाव देने को भी कहा।

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