भोपाल। इन दिनों लड़कियों की सोशल मीडिया के प्रति दीवानगी और उनका विरोध लगातार हिंसक रूप लेता जा रहा है। भोपाल में दिव्या हत्याकांड भी इसीलिए हुआ। प्रेमी ने दिव्या और उसकी मां को केवल इसलिए मार दिया क्योंकि दिव्या वाट्सएप पर मैसेजिंग किया करती थी और मना करने पर भी बंद नहीं कर रही थी।
पुलिस अधीक्षक (साउथ) अंशुमान सिंह ने सोमवार को अंधे कत्ल का खुलासा करते हुए बताया कि शिवनगर निवासी 22 वर्षीय हरीश बैंक में खाता खुलवाने का काम करता है। उसका दो साल से दिव्या ललवानी से प्रेम प्रसंग चल रहा था। फ़र्स्ट ईयर की छात्रा दिव्या मिनाल रेसिडेंसी स्थित एक कॉल सेंटर में भी काम करती थी। दिव्या के माता-पिता दोनों के संबंध से नाराज थे। दिव्या का कॉल सेंटर में काम करना हरीश को पसंद नहीं था। हरीश इस बात से भी नाराज रहता था कि दिव्या अन्य लड़कों से भी बात करती है।
एक महीने पहले हरीश कॉल सेंटर पहुंचा था। उसने दिव्या के वाट्सएप में लड़कों से बातचीत देखकर झगड़ा किया था। उसने दिव्या की सिम तोड़ दी थी। दिव्या का अन्य लड़कों से बातचीत करना आैर फाइनेंस के मोबाइल की बकाया राशि देने के लिए दबाव बनाने से नाराज हरीश ने अपनी दास्तान शिवम श्रीवास्तव को सुनाई थी। शनिवार को दिव्या ने फोन करके हरीश को कहा था कि वह शाम चार बजे तक मोबाइल की बकाया राशि दे जाए नहीं तो उसके खिलाफ केस दर्ज करा देगी।
इसके पहले ही हरीश दोनों को रास्ते से हटाने की योजना बना चुका था। वह दो दिन पहले ही दो चाकू खरीदकर लाया था। वह शिवम को साथ लेकर उनके घर पहुंचा। तब फोन पर दिव्या ने बताया कि उसकी मौसी पूनम अभी घर पर ही है। दोनों बाहर खड़े होकर पूनम के जाने का इंतजार करने लगे। जैसे ही पूनम वहां से निकली दोनों उनके घर पहुंच गए।
हरीश ने दिव्या से कहा था कि उसे मां (सुनीता) से अकेले में जरूरी बात करनी है, इसलिए वह बाहर चली जाए। दिव्या कमरे से बाहर गई तो सुनीता वहीं पलंग पर बैठ गई। सुनीता के पलंग पर बैठते ही योजना अनुसार शिवम ने उसका मुंह दबाया आैर हरीश ने चाकू से कई वार कर किए। सुनीता की हत्या कर उसे रजाई में छिपा दिया। जब दिव्या कमरे में आई तो उसे फर्श पर पटक कर उस पर भी चाकू से कई बार किए। दोनों की हत्या कर दरवाजा बाहर से बंद करके दोनों अपनी स्कूटी से रवाना हो गए।