उज्जैन। कोठी स्थित कलेक्टोरेट में जमकर बवाल हुआ। बीपीएल सूची में नाम जोड़े जाने और जानकारी नहीं देने के नाम पर कर्मचारी और भाजपाइयों ने एक-दूसरे पर मारपीट के आरोप लगाए। यह बवाल माधवनगर थाने आकर हंगामे और नारेबाजी में तब्दील हो गया।
एफआईआर की मांग को लेकर भाजपा के आधा दर्जन से अधिक पार्षद, भाजपा नगर उपाध्यक्ष, भाजयुमो अध्यक्ष सहित कई कार्यकर्ता थाने पर जमा हो गए। जहां सभी ने पुलिस-प्रशासन के खिलाफ नारे लगाए और थाने का घेराव किया। शाम करीब 5 बजे से शुरु हुए हंगामे में रात करीब 9 बजे पुलिस ने संयुक्त कलेक्टर महाकाल मंदिर प्रशासक जयंत जोशी, भाजपा विक्रमादित्य मंडल महामंत्री महेश चौहान सहित दोनों पक्षों के छह लोगों के खिलाफ नामजद क्रास एफआईआर दर्ज की। भाजपाई यहां भी नहीं माने। इसके बाद वे संयुक्त कलेक्टर जोशी के खिलाफ एससी-एसटी एक्ट की धाराओं में मुकदमा दर्ज करवाने के लिए अजाक थाने पहुंचे। अजाक पुलिस ने जोशी के खिलाफ आवेदन लेकर जांच का आश्वासन दिया। इसके बाद भाजपाइयों का आक्रोश शांत हुआ।
इनपर मुकदमा
फाजलपुरा निवासी विक्रमादित्य मंडल महामंत्री महेश चौहान की रिपोर्ट पर संयुक्त कलेक्टर जयंत जोशी, बाबू प्रतीक व्यास चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी गणेश सहित अन्य के खिलाफ धारा 323, 294 34 के तहत मुकदमा। जिला प्रोटोकाल अधिकारी के सहायक बाबू प्रतिक व्यास की रिपोर्ट पर विक्रमादित्य मंडल महामंत्री महेश चौहान, मांगू पहलवान, संजय तिवारी सहित अन्य भाजपा कार्यकर्ताओं के खिलाफ धारा 353,186, 506 34 के तहत मुकदमा।
क्यों हुआ विवाद
विक्रमादित्य मंडल महामंत्री ने एफआईआर में जिक्र किया है कि वे अनाज का व्यापार करते है। वार्ड16 के लक्ष्मणसिंह बाथम सहित अन्य रहवासियों के बीपीएल कार्ड की जानकारी लेने के लिए कलेक्टोरेट गया था।
जहां जानकारी लेने के दौरान बाबू प्रतीक व्यास से कहासुनी हुई। जिस पर संयुक्त कलेक्टर जयंत जोशी, बाबू व्यास एक महिला कर्मचारी ने एकमत होकर मारपीट की। कर्मचारी गणेश ने नुकीली वस्तु से हमला कर घायल कर दिया। इस दौरान उनकी सोने की बाली मोबाइल भी वहीं गिर गया। बाबू व्यास ने अपनी एफआईआर में जिक्र किया है कि उनके पास बीपीएल का अतिरिक्त प्रभार भी है। शाम करीब 4 बजे महेश चौहान, मांगू पहलवान संजय तिवारी आए। उन्होंने कहा कि ये कागजात दे रहे हैं, तुरंत इन्हें बनाकर दो। कहासुनी के बीच सभी ने मिलकर लात-घूंसों से मारपीट की, गंदी-गंदी गालियां दी। कर्मचारियों ने बीच-बचाव कर उन्हें बचाया।