इंदौर। राज्यसेवा परीक्षा-2012 पर निर्णय अभी और लंबा खिंचता नजर आ रहा है। मप्र लोकसेवा आयोग (MPPSC) ने परीक्षा-2012 पर अपनी ओर से कोई भी फैसला लेने से इनकार कर दिया है। आयोग ने स्पष्ट कर दिया है कि मामला कोर्ट में पहुंच चुका है। अब कोर्ट जो निर्देश देगी उसी पर अमल होगा।
परीक्षा के पहले दोनों चरण पूरे हो चुके हैं। जुलाई में इंटरव्यू का आखिरी दौर होना था। इसके ठीक पहले पेपर आउट होने का आरोप लग गया। मामले पर एसटीएफ ने जांच की तो पीएससी ने इंटरव्यू स्थगित कर दिए। इंटरव्यू में चयनित ग्यारह सौ से ज्यादा विद्यार्थी इंटरव्यू आयोजित करवाने की मांग कर रहे हैं। उधर अन्य छात्र पूरी परीक्षा ही निरस्त करने की मांग कर रहे हैं।
पीएससी के सचिव मनोहर दुबे का कहना है कि आयोग ने अपनी ओर से पूरी तैयारी कर रखी है। हम निर्णय के लिए कोर्ट के निर्देश का इंतजार कर रहे हैं। कोर्ट का आदेश परीक्षा रद्द करने का हुआ तो वह होगा यदि प्रक्रिया जारी रखने का आदेश हुआ तो हम परीक्षा आयोजित करवा लेंगे। आयोग अपनी ओर से कोई फैसला नहीं लेगा।
ऑनलाइन एजेंसी होगी तय
इस बीच पीएससी ने अपनी अगली परीक्षाएं ऑनलाइन पद्धति से करवाने का निर्णय लिया है। इस पर अमल भी शुरू हो गया है। आयोग के अनुसार 10 मार्च तक ऑनलाइन परीक्षा के लिए तय एजेंसी की घोषणा हो जाएगी। इसके बाद सहायक प्राध्यापक और अन्य परीक्षाओं की तारीखों की घोषणा की जाएगी।