नईदिल्ली। सरकार ने देश में नई बहस के लिए एक विषय दे दिया है। आईपीसी की धारा 377 जो अप्राकृतिक यौन संबंधों के मामले में उपयोग की जाती है। सरकार इसे खत्म करने पर विचार कर रही है।
केंद्रीय कानून मंत्री डी.वी. सदानंद गौड़ा ने संकेत दिया है कि आईपीसी की धारा 377 को खत्म किया जा सकता है, जो कि 'अप्राकृतिक सेक्स' को अपराध बनाती है। गौड़ा का बयान पिछले हफ्ते आए अमेरिकी सुप्रीम कोर्ट के ऐतिहासिक फैसले के परिप्रेक्ष्य में आया है. अमेरिकी कोर्ट ने समलैंगिक शादी को कानूनी मान्यता दी थी.
खबरों के मुताबिक गौड़ा ने कहा कि इस मसले पर जो भी निर्णय होगा वह व्यापक विचार विमर्श और सभी पहलुओं पर चर्चा करने के बाद ही लिया जाएगा.