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महाकाल के दुर्लभ दर्शन |
पं. धर्मेंद्र शास्त्री। सर्वार्थ सिद्धि योग में शुरू हुए श्रावण मास का पहला सावन सोमवार गज केसरी योग में मनेगा। इसी दिन गणेश चतुर्थी भी है। इन दोनों योगों के संयोग से इस दिन की शुभता में और अधिक वृद्धि होगी। शिव के प्रिय सोमवार के दिन गुरु सिंह राशि में और चंद्रमा कुंभ राशि में रहेगा। ये दोनों ग्रह आमने-सामने रहेंगे। दोनों ग्रहों की यह स्थित गज केसरी योग निर्मित करेगी। इस योग में की गई साधना-उपासना श्रेष्ठ फलदायी होती है। इसी दिन गणेश चतुर्थी होना भी शुभ माना जा रहा है।
गुरु (बृहस्पति) धर्म व सिद्धि साधना के प्रतिनिधि है, जबकि चंद्रमा भगवान शिव के मस्तक पर शोभायमान है, जो मन का कारक है। शिव पूजा से चंद्रमा मन को स्थिरता प्रदान करता है। गुरु ज्ञान में वृद्धि करता है। गज केसरी योग में की गई शिव पूजा व अभिषेक करने से अनिष्ट करने वाले अन्य गृह भी शांत होते हैं, चूंकि शिव महाकाल भी हैं।