नई दिल्ली। उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी ने मोदी सरकार को मुस्लिमों को लेकर नसीहत दी है। अंसारी ने कहा है कि मुसलमानों की सुरक्षा औऱ पहचान के लिए सकारात्मक कदम उठाए जाएं ताकि ये समुदाय सरकार के मूल उद्देश्य सबका साथ सबका विकास के साथ आगे बढ़ सके।
उपराष्ट्रपति ने मोदी सरकार के कार्यक्रम सबका साथ सबका विकास की तारीफ करते हुए कहा कि सरकार के सामने ऐसी नीतियां बनाने की चुनौती है जिनसे मुसलमानों का सशक्तिकरण हो, फैसले लेने और संपत्ति में उनकी बराबर की भागीदारी हो।
अंसारी ने कहा कि जहां तक वंचित रखने, बाहर करने और भेदभाव (सुरक्षा मुहैया कराने में विफलता सहित) का प्रश्न है, सरकार या उसके एजेंटों की चूक सरकार को ही जल्द से जल्द सुधारनी है और इसके लिए उचित व्यवस्था विकसित की जाए।
वह मुस्लिम संगठनों के शीर्ष फोरम आल इंडिया मजलिस ए मुशावरत के स्वर्ण जयंती समारोह में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि सशक्तीकरण, राजकीय संपत्ति में समान हिस्सेदारी और निर्णय लेने की प्रक्रिया में निष्पक्ष हिस्सेदारी जैसे मुददे, जो मुस्लिमों के समक्ष हैं, हल करने के लिए रणनीतियां और कार्य पद्धतियां विकसित करना चुनौती है।
उन्होंने कहा कि सामाजिक शांति के लिए राजनीतिक दूरदर्शिता जरूरी है। धर्मनिरपेक्ष राजनीति के तहत रह रहे अधिकांश मुस्लिम अल्पसंख्यकों का भारत का अनुभव अन्य के लिए अनुसरण का माडल होना चाहिए। देश की 14 प्रतिशत आबादी मुस्लिम है।
मुस्लिम समुदाय के कल्याण के लिए सच्चर समिति की रिपोर्ट के कार्यान्वयन की समीक्षा के लिए बनी कुंदू रिपोर्ट पिछले साल सितंबर में सौंपी गयी थी। इसमें जोर देकर कहा गया है कि मुस्लिम अल्पसंख्यकों का विकास सुरक्षा की भावना के सुदृढ आधार पर टिकी होनी चाहिए।