भोपाल। पूरी दुनिया आॅनलाइन हो रही है और मध्यप्रदेश का माध्यमिक शिक्षा मंडल आॅनलाइन होने के बाद वापस आॅफलाइन हो गया। सुना है नए सचिव महोदय ने ऐसा किया है। मंडल को आॅनलाइन करने के लिखित आदेश जारी किए गए थे परंतु आॅफलाइन करने के मौखिक आदेश जारी किए गए हैं। अब यह एक व्यवस्थागत कदम है या किसी घोटाले की जमावट यह तो आने वाला वक्त ही बताएगा।
फिलहाल खबर यह है कि डीएड के अंक पुराने पैटर्न पर बुलाए जा रहे हैं। मंडल ने डीएड, हाईस्कूल और हायर सेकंडरी के मूल्यांकन केंद्रों से अंक मंगाने की पुरानी पद्घति में कई खामियां निकालते हुए ऑनलाइन अंक मंगाने का निर्णय लिया था। नई व्यवस्था में दिनभर में जंचीं कॉपियों के अंक उसी दिन इंटरनेट के माध्यम से मंडल को भेजे जाना थे। दावा किया गया था कि ऐसा करने से जिस दिन मूल्यांकन समाप्त होगा, उसी दिन अंक मंडल पहुंच जाएंगे। इससे रिजल्ट जल्द जारी करने में भी आसानी होगी। सूत्र बताते हैं कि सचिव के बदलते ही व्यवस्था भी बदल गई। मूल्यांकन केंद्र प्रभारियों को अंक पुराने पैटर्न पर भेजने के मौखिक निर्देश दिए गए और इन केंद्रों से अंक लेकर कर्मचारियों को भेजा जा रहा है। मामले में मंडल के सचिव धनंजय सिंह भदौरिया से बात करने की कोशिश की गई, लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया।
यह गिनाईं खामियां
नई व्यवस्था लागू करते हुए मंडल के अधिकारियों ने पुरानी व्यवस्था (ऑफलाइन) में कई खामियां गिनाई थीं। उन्होंने कहा था कि ऑफलाइन व्यवस्था में मूल्यांकन के बाद अंक कई दिनों तक मूल्यांकन केंद्र में ही रोके जाते हैं। जिससे अंकों में परिवर्तन का खतरा रहता है। इसी कारण कॉलेज संचालक मंडल की ऑनलाइन व्यवस्था का विरोध कर रहे थे। अधिकारियों ने नई व्यवस्था में अच्छाईयां भी गिनाई थीं। जिसमें रिजल्ट समय से पहले आना शामिल है।