जबलपुर। सीबीआई के विशेष न्यायाधीश एमके शर्मा की अदालत ने लोन फर्जीवाड़े के आरोपी स्टेट बैंक ऑफ बीकानेर एंड जयपुर के तत्कालीन शाखा प्रबंधक सुधीन्द्र कुमार शर्मा, पन्ना के सिविल कांट्रेक्टर उमेश कुमार तिवारी, राजेन्द्र सिंह यादव व ट्रांसपोर्टर गुरविन्दर सिंह कोहली को 5-5 साल के सश्रम कारावास की सजा सुनाई। साथ ही 20-20 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया।
अभियोजन के मुताबिक सुधीन्द्र कुमार शर्मा ने 1 अप्रैल 2006 से 10 मई 2008 की अवधि में बैंक मैनेजर रहने के दौरान पन्ना जिले में पद का जमकर दुरुपयोग किया। उन्होंने ट्रांसपोर्टर गुरविन्दर सिंह कोहली को 2-2 लाख रुपए के लोन बैंक नियमों को बला ए ताक रखकर दिए। जिसके एवज में 40 हजार रुपए रिश्वत हासिल की।
इसी तरह उमेश कुमार तिवारी को 11.5 लाख की झूठी एसटीडीआर के अलावा 46 लाख व 23 लाख की झूठी बैंक गारंटी भी प्रदान की। जिसके एवज में 2 लाख रुपए प्राप्त किए। इसी तरह राजेन्द्र सिंह यादव को 5 लाख की सीसी लिमिट बैंक नियमों के विपरीत प्रदान करने का अपराध किया। इसके एवज में रिश्वत बतौर 90 हजार प्राप्त किए। सीबीआई ने धरपकड़ के बाद घोटाले का पर्दाफाश कर दिया।