भोपाल। राज्य शिक्षा केंद्र एक बार फिर चर्चा में है। यहां करोड़ों के 155 लैपटाप और एलईडी गायब हो गए हैं। मामले की खबर विभागीय मंत्री तक पहुंच गई है। स्मार्ट क्लास के लिए राज्य शिक्षा केंद्र ने मप्र स्टेट इलेक्ट्रानिक्स डेव्हलपमेंट कार्पोरेशन लिमिटेड (एमपीएसईडीसी) के माध्यम से लैपटाप, यूपीस व एलईडी की खरीदी की थी। यह खरीदी 16 सौ प्रति लैपटाप, एलईडी व यूपीएस की गई है। इसका भुगतान 22 करोड़ 51 लाख 47 हजार रुपए का किया गया है।
यह खरीदी तत्कालीन आयुक्त राज्य शिक्षा केंद्र रश्मि अरूण शर्मा के कार्यकाल में की गई थी। राज्य शिक्षा केंद्र ने 1600 लैपटाप, एलईडी व यूपीएस के बिल का भुगतान भी कर दिया है। लेकिन राज्य शिक्षा केंद्र में सिर्फ 1445 स्कूलों में संचालित स्मार्ट क्लास में एलईडी, यूपीएस व कंप्यूटर लगे हैं, जबकि 155 कंप्यूटर, एलईडी व यूपीएस का पता ही नहीं है। इनकी कीमत दो करोड़ रुपए से अधिक है।
ऊंची दर पर खरीदी
मप्र स्टेट इलेक्ट्रानिक्स डेव्हलपमेंट कार्पोरेशन लिमिटेड (एमपीएसईडीसी) के माध्यम से की गई खरीदी में सामान भी बाजार दर से काफी महंगा लग रहा है। विभाग ने प्रति लैपटाप 44544, प्रति यूपीएस रुपए पर खरीदी की है। इसके साथ ही जो खरीदी की गई उसमं किस कंपनी का सामान खरीदा गया है वह किसी को पता नहीं है। स्कूलों में भी वह लैपटाप, एलईडी पहुंचे हैं जिनकी बाजार में कीमत बहुत कम है।
प्रोग्रामर की भूमिका संदेह के घेरे में
राज्य शिक्षा केंद्र में कंप्यूटर खरीदी के मामले में एक प्रोग्रामर नीरज सक्सेना की भूमिका संदेह के घेरे में है। दरअसल प्रोग्रामर नीरज सक्सेना द्वारा हेडस्टार्ट सहित अन्य कार्यों के लिए हजारों कंप्यूटर की खरीदी कर उसमें घालमेल किया गया। वर्तमान में हेडस्टार्ट के कंप्यूटरों का किसी के पास हिसाब नहीं है। इनके द्वारा ही स्मार्ट क्लास के लिए लैपटाप, एलईडी व यूपीएस की खरीदी गई। जिसमें विभिन्न स्तरों पर कमीशन का खेल हुआ।
20 साल बाद तबादला और वापसी की तैयारी
प्रोग्रामर नीरज सक्सेना करीब बीस वर्षों से राज्य शिक्षा केंद्र में प्रतिनियुक्ति पर जमे हुए थे। हाल ही में इनका तबादला मूल विभाग स्कूल शिक्षा में कर दिया गया है। इन्हें हायर सेकेंडरी स्कूल प्राचार्य के पद पर पदस्थापना भी कर दी गई है। राज्य शिक्षा केंद्र में अभी और कंप्यूटर खरीदी के प्रस्ताव है। जिससे विभाग के कुछ अधिकारियों के चहेते होने के कारण इनकी दोबारा वापसी के लिए मंत्री के पास नोटशीट भेजी गई है। जिसमें निर्णय होना बाकी है।
राज्य शिक्षा केंद्र ने इस साल प्रदेश के 51 जिलों में 1445 स्कूलों में स्मार्ट क्लास शुरू की थी। राजधानी में 31 स्कूलों में स्मार्ट क्लास शुरू हुई है।