भाजपा नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी के पास दोहरी नागरिकता रखने का आरोप लगाया था, जिसमें उन्होंने कहा था कि राहुल ने बैकप्स लिमिटेड कंपनी से जुडे़ दस्तावेजों में स्वयं को एक ब्रिटिश नागरिक घोषित किया है। हालांकि कांग्रेस ने उनके आरोप को खारिज कर दिया।
एक अंग्रेजी अखबार में छपी खबर के अनुसार, चुनाव आयोग को दिए गए अपने हलफनामे में राहुल गांधी ने कॉमर्शियल लेन-देन के बारे में जानकारियां दी हैं। आइए नजर डालते हैं उनके कॉमर्शियल लेन देन और अन्य संपत्तियों पर-
1- बैकप्स सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड
नई दिल्ली में स्थित इस कंपनी की कुल संपत्ति 25 लाख है। 2002 में इसका पंजीकरण कराया गया था। यह एक कॉल सेंटर जैसे काम करती है, जो विदेशी सिविल इंजीनियरिंग कंपनियों को इंजीनियरिंग डिटेल्स और संरचनात्मक योजनाओं से संबंधित सेवाएं देती है।
2004 में राहुल गांधी ने अपने शपथ पत्र में बताया था कि इस कंपनी के 83 फीसदी शेयर उनके पास हैं। इस कंपनी के दूसरे डायरेक्टर राहुल गांधी के पारिवारिक मित्र मनोज मुत्तु हैं। बाद में राहुल गांधी ने इस कंपनी के शेयर प्रियंका गांधी को दे दिए।
2010 में कंपनी के दस्तावेजों के अनुसार, प्रियंका के पास कंपनी के 91.67 फीसदी शेयर हैं। 25 मार्च 2009 को उनको कंपनी का अतिरिक्त निदेशक बना दिया गया। बाकी के शेयर मुत्तु के पास हैं।
2- बैकप्स लिमिटेड
2003 में इस कंपनी को ब्रिटेन में रजिस्टर कराया गया। इस कंपनी के डायरेक्टर राहुल गांधी थे और दूसरे डायरेक्टर अमेरिकी नागरिक उलरिक मैकनाइट थे। राहुल गांधी के 2004 के चुनावी शपथ पत्र के अनुसार, इस कंपनी का खाता एचएसबीसी यूके बैंक में है और उसमें 18,600 अमेरिकी डॉलर जमा हैं। 2009 में उस कंपनी को बंद कर दिया गया।
3- दुकानें
राहुल गांधी ने 2006 में नई दिल्ली के साकेत इलाके में मेट्रोपोलिटन मॉल में दो दुकानें खरीदी थीं। 2009 के चुनावी घोषणा पत्र के अनुसार, इन दोनों दुकानों की कीमत करीब एक करोड़ 63 लाख रुपए है। 2012-13 में उन्होंने उन दुकानों को 5 करोड़ 28 करोड़ रुपए में बेच दिए।
4- अन्य संपत्तियां
राहुल गांधी ने गुड़गांव के सिग्नेचर टावर-2 में दो कॉमर्शियल प्रॉपर्टी खरीदी थी। अक्टूबर 2010 में उन्होंने एक संपत्ति एक करोड़ 44 लाख और दूसरी 3 करोड़ 36 लाख रूपए में खरीदी थी।
5- जमीन
2008 में राहुल गांधी ने फरीदाबाद जिले के मौजा हसनपुर गांव में 6 एकड़ से अधिक जमीन खरीदी थी। 2012 में उन्होंने इस जमीन को प्रियंका गांधी को उपहार स्वरूप दे दी।