सामान्य ज्ञान भाग 12 (भारत चीन संबंध)

Bhopal Samachar
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भारत चीन संबंध 1962 का युद्ध
चीन के साथ के अत्यंत प्राचीन सम्बंध रहे है। प्राचीन काल मे दोनो देशो के मध्य मैत्रीपूर्ण सम्बंध थे। पश्चिमी साम्राज्यवाद के एशियाई क्षेत्र मे पैर पसारते ही भारत -चीन के सम्बंधो मे खटास आती गई। जब भारत पर अग्रेजो का शासन था, चीन के प्रति भारत मे बहुत सहानुभूति थी। 1931 मे जब जापान द्रारा मंचूरिया पर आक्रमण किया गया। तो चीन के प्रति अपनी सहानुभूति दिखाने के लिये भारत में चीन दिवस मनाया गया। 1967 मे जब चीन जापान युद्ध शुरु हुआ तो भारत ने एक बार फिर चीन के प्रति अपनी सहानुभूति दिखाई।

भारत और चीन के मध्य तिब्बत को लेकर मतभेद की स्थिति निर्मित हुई। भारत तिब्बत पर चीन के अधिकार को स्वीकार करने को तैयार नही था किन्तु वहाॅ एक स्वायत्त शासन स्थापित करने का पक्षधर भी था। चीन ने भारत की मंशा को अनदेखा करते हुएॅ 25 अक्टुबर 1950 को तिब्बत पर सैनिक कार्यबाई शुरु कर दी। भरत ने चीन की इस कार्यबाही का बिरोध किया। मार्च 1958 मे तिब्बत मे चीन के बिरुद्ध विद्रोह शुरु हो गया। विद्रोहियो को दलाईलामा का समर्थन प्राप्त था। 

जब चीनी शासको ने विद्रोह को कुचलने का प्रयास किया तो दलाईलामा को तिब्बत छोडकर भागना पडा दलाईलामा को भारत सरकार ने शरण दी। जिससे दोनो देशो के मध्य शीत युद्ध शुरु हो गया। इसके साथ ही चीन ने सीमा विवाद शुरु कर दिया। भारत द्वारा पंचशाील के सिद्धांत पर चीन के साथ पुनः सम्बंधो मे मधुरता लाने का प्रयास किया गया। 1960 मे भारत और चीन के प्रधानमंत्री दिल्ली मे सीमा विवाद पर बात करने के लिये मिले। इसके बाद दोनो देशो के अधिकारियो के बीच कई बैठके हुई लेकिन सितंबर 1962 को चीन ने भरत चीन सीमा के पूर्वी क्षेत्र अर्थात् भारत के नेफा क्षेत्र पर आक्रमण कर दिया। 

चीनी फौजो ने 20 अक्टुबर 1962 को भारत चीन सीमा पर तैनात भारतीये फौजो पर आक्रमण किया। अक्टुबर 1962 का भारत चीन युद्ध कोई आकस्मिक घटनाक्रम नही था। यह सब उन घटनाओ की चरम परिणति थी। जो तिब्बत संकट को देखने के बाद आई। चीन द्रारा मैकमोहन रेखा को अस्वीकार किया गया। और यह आक्रमण लद्धाख के अक्साई चीन और पूर्व में नेफा अब अरुणाचल प्रदेश में व्यापक पैमाने पर हुआ। इस दौरान युद्ध विराम के सुझाव अवश्य सामने आये। किन्तु कोई समझौता नही हो सका। चीन ने 26 अक्टुबर 1960 को एक तीन सूत्रीय सुझाव दिया। जिसके जबाव मे भारत ने सीमाओ पर यथास्ाििति बनाये रखने का सुझाव दिया। अन्त मे चीन ने 21 नवम्बर 1962 को एक तरफा युद्ध विराम की घोषण की। 

1-इंडिया विजन-2020 भारतीय योजना आयोग ने जनवरी 2003 में इंडिया विजन -2020 के नाम से एक महत्वपूर्ण दस्तावेज जारी किया। इस दस्तावेज के अनुसार  भारत सन 2020 तक विकसित देशो की श्रेणी में सम्मिलित हो जायेगा। फलतः देश से बेरोजगारी, गरीबी, निरक्षरता, पूर्णतः दूर हो जायेगी। योजना आयोग का अनुमान है, कि सन 2020 तक देश की 135 करोड जनसंख्या बेहतर पोषित अच्छे रहन सहन के स्तर बाली, पूर्णतः स्वस्थ तथा अधिक औसत आयु वाली होगी।

2-मंगल पाण्डे एक सैनिक था, जो बैरकपुर बंगाल स्थित छावनी मे पदस्थ था। 29 मार्च 1857 को इस सैनिक ने चर्बी लगे कारतूसो को मुॅह से काटने से स्पष्ट मना कर दिया था, और का्रेध मे आकर अपने अधिकारियो की हत्या कर दी। फलस्वरुप उसे बंदी बना लिया गया और 8 अप्रैल 1857 को फांसी दे दी गई।

भारत मे राष्ट्रीय आपातकाल अब तक तीन बार हो चुका है।
1-चीन द्रारा आक्रमण करने पर 26 अक्टुबर 1962 से 10 जनवरी 1968 तक।
2-पाकिस्तान द्रारा आक्रमण के कारण 3 दिसम्बर 1971 से 21 मार्च 1977 तक 
3-आंतरिक उपद्रव की आशंका के आधर पर 25 जून 1975 को भारत मे आपातकाल घोषित किया गया।

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