इंदौर। अपहरण किए छात्रों ने अपनी सूझ-बूझ से न सिर्फ खुद को किडनैपर्स के चंगुल से बचाया बल्कि, उन्हें गिरफ्तार भी कराया. आरोपियों को हिरासत में लेकर पुलिस उनसे लगातार पूछताछ कर रही है.
जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार रात करीब 4:30 बजे यूपी निवासी बीएससी फाइनल के छात्र सम्पूर्ण व्यास (20), अंकित रायकवार (20) और आदित्य जैन (19) पोहे खाकर नौलखा से थाने की तरफ जा रहे थे. इसी बीच होलकर कॉलेज के सामने नीली बत्ती की कार में सवार वंदन मूलचंद ने उन्हें रोक लिया. तीनों के नाम पूछते हुए आरोपी ने खुद को डीएसपी का बेटा और क्राइम ब्रांच का अफसर बताते हुए तीनों को थाने में बंद करने की धमकी दी.
वंदन ने छात्रों से कहा कि इलाके में इन दिनों बहुत चोरियां हो रही है और चूंकि छात्र दूसरे राज्य के हैं इसलिए इन चोरियों में उनका ही हाथ है. इस पर छात्रों ने अपने बचाव में सफाई देना शुरू कर दी. आरोपी वंदन ने उनकी बातों को नकारते हुए गिरफ्तारी की धमकी देकर तीनों को कार में बैठाया और थाने की तरफ कार बढ़ा दी. इस बीच वो किसी से फोन पर बात करने लगा और एमआईजी थाने में पूछताछ करने की बात कहकर कार पलासिया की ओर बढ़ा दी.
इसके बाद आरोपी ने डिएसपी के बंगले के बाहर गाड़ी रोकी और फिर रिमांड लेने की बात करते हुए आरोपी वंदन छात्रों को एबी रोड स्थित मॉल के पास सुनसान क्षेत्र में लेकर आ गया. यहां उसका एक साथी आया और कार में बैठने पर तीनों छात्रों के एनकाउंटर की बात करने लगा. आरोपियों ने छात्रों को छोड़ने के एवज में उनसे पैसों की डिमांड रखी. जिस पर छात्रों ने पैसे नहीं होने की बात बताई.
दोनों की बातें सुनकर छात्रों को आरोपियों पर शक होने लगा. उनमें से एक छात्र संपूर्ण ने आरोपियों को शनिवार को दोपहर 12 बजे तक पैसों का इंतजाम करने की बात कही. इस पर आरोपी उनकी बातों में आ गए और उन्हें उनके फ्लैट पर छोड़ दिया.
फ्लैट पर पहुंचते ही छात्रों ने पुलिस को घटनाक्रम की सूचना दी. पुलिस ने सुनियोजित तरीके से शनिवार को फ्लैट के आसपास पुलिसकर्मी तैनात कर दिए. तय समय पर जब आरोपी फ्लैट पर पैसे लेने पहुंचे तो पुलिस ने उन्हें धर दबोचा. फिलहाल पुलिस ने आरोपियों को हिरासत में लेकर उनसे पूछताछ करना शुरू कर दी है. पुलिस ये जानने की कोशिश कर रही है कि उनके पास नीली बत्ती की गाड़ी कहां से आई और अब तक इस तरह से उन्होंने कितनी वारदातों को अंजाम दिया है.