सिवनी। मंगलवार को एसपी एके पांडे की जनसुनवाई में जमकर हंगामा हुआ. अपनी शिकायत लेकर पहुंचे ग्रामीणों को एसपी के आदेश के बाद पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया.
सिवनी में चार दिन पहले लूघरवाडा में शराब दुकान संचालक के साथ मार-पीट की घटना के बाद कोतवाली पुलिस ने कई युवकों पर मामला दर्ज किया था. जिन्हें ग्रामीण निर्दोष बता रहे हैं. पुलिस की इसी कार्रवाई की विरोध करते हुए ग्रामीण एसपी की जनसुनवाई में पहुंचे लेकिन एसपी के आदेश पर सभी ग्रामीणों को गिरफ्तार कर लिया गया. गिरफ्तार किए गए 37 पुरुषों पर धारा 151 के तहत प्रतिबंधात्मक कार्रवाई कर दी गई है.
वहीं एसपी का इस कार्रवाई पर कहना है कि ग्रामीण बिना परमिशन के एसपी कार्यालय उसका घेराव करने के लिए बड़ी संख्या में पहुंचे थे. समझाइश के बाद भी ग्रामीण वहां से नहीं गए ऐसे में उन्हें मजबूरन कार्रवाई करते हुए ग्रामीणों की गिरफ्तारी के आदेश देने पड़े.
'बेगुनाहों पर जबरदस्ती कार्रवाई कर रही है पुलिस'
गांव के ही कुछ शरारती लोगों ने शराब दुकान संचालक के साथ चार दिन पहले मारपीट की थी. जिस पर कोतवाली पुलिस ने दुकान संचालक की शिकायत पर आठ आरोपियों के विरुद्ध मामला कायम किया था. मामला कायम होने के बाद से ही सभी आरोपी फरार चल रहे हैं. आरोपियों की तलाश के लिए पुलिस लगातार घरों में दबिश दे रही है. ग्रामीणों का आरोप है कि जिन युवकों के खिलाफ मामला दर्ज किया गया है वो सभी बेगुनाह है. ग्रामीणों ने दावा किया कि पुलिस ने शराब दुकान संचालक के दबाव में आकर युवकों पर मामला कायम किया है. इस मामले में ग्रामीणों ने बड़ी संख्या में इकट्ठा होकर कलेक्टर और एसपी को ज्ञापन सौंपते हुए मामले में निष्पक्ष जांच की मांग की है.