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मारपीट का आरोपी अध्यापक जांच पूरी होने से पहले ही बहाल

राजेश शुक्ला/अनूपपुर। जिला मुख्यालय में स्थित एकलव्य आवासीय विद्यालय में पदस्थ रहे अध्यापक अमित प्रताप सिंह को पुष्पराजगढ जनपद के शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बेनीबारी में छात्रो को ट्यूशन पढाने के आरोप में 4 अप्रेल 2014 को निलंबित करते हुए एकलव्य आवासीय विद्यालय अनूपपुर में पदस्थ किया गया था। 

इस विद्यालय में भी उनके द्वारा अतिथि शिक्षक अरूण कुमार तिवारी के साथ कक्षा में ही मारपीट की गई थी। जिसके बाद थाने में अमित प्रताप सिंह के विरूद्ध धारा 294, 323, 506 के तहत मामला पंजीबद्ध किया गया। 22 अप्रैल को अध्यापक अमित सिंह को पुष्पराजगढ के शिक्षक विहीन संस्था हाई स्कूल जरहा के लिए कार्यमुक्त कर दिया गया था। महज एक माह बाद ही एक बार फिर अमित सिंह को एकलव्य आवासीय विद्यालय में पदस्थ कर दिया गया। अब तक पूरे मामले की जांच नही हो पाई है।

शिकायत पर जांच अब तक नहीं
राजेन्द्रग्राम में निवास करने वाले कमलेश चौधरी ने कलेक्टर अनूपपुर को लिखित शिकायत करते हुए बताया था कि शा.बालक उच्च्तर माध्यमिक विद्यालय बेनीबारी में पदस्थ अध्यापक संवर्ग अमित प्रताप सिंह को विभाग द्वारा निलंबित किया गया तथा विभागीय जांच के आदेश दिए गए जो अब तक पूर्ण नही हो पाया लेकिन अध्यापक को निलबंन से बहाल कर ग्रामीण अंचल से हटाकर शहरी क्षेत्र का लाभ देने के लिए विशिष्ट विद्यालय अनूपपुर में पदस्थ कर दिया गया। जबकि विशिष्ट संस्था में अध्यापक संवर्ग का कोई भी पद स्वीकृत नही है। तथा इनका वेतन नियमित व्याख्यता पद के विरूद्ध आहरित किया जा रहा है। शिकायत के बाद जांच और कार्यवाही आश्वासन तक सिमट कर रह गई।

जरहा विद्यालय शिक्षक विहीन
३० मई २०१६ को कलेक्टर कार्यालय के पत्र क्रमांक २४२७/स्टेनो /२०१६ में जारी आदेश में अमित प्रताप सिंह को जरहा विद्यालय से हटाकर एकलव्य आवासीय विद्यालय में पदस्थ करने के संबंध में आदेशित किया गया, जबकि इससे पूर्व २२ अप्रैल २०१६ को सहायक आयुक्त आदिवासी वि कास विभाग के आदेश में अमित प्रताप सिंह को शि क्षक विहीन संस्था जरहा विद्या लय में पदस्थ किया गया था, अमित ङ्क्षसह के एकलव्य विद्यालय में आने से जरहा विद्यालय एक बार फिर शिक्षक विहीन  हो गया है।

अपने ही आदेश भूला प्रशासन
२२ अप्रैल को सहायक आयुक्त आदिवासी विकास विभाग ने जरहा विद्यालय को शि क्षक विहीन बतलाते हुए आदेश जारी किया था कि एकलव्य विद्यालय में अध्यापक संवर्ग का पद नही होने तथा मारपीट के आरोपी अमित प्रताप सिंह को जरहा विद्यालय में पदस्थ किया जाता है, महज ४० दिनो में प्रशासन अपने ही आदेश और शि क्षक विहीन विद्यालय जरहा को भूल कर विशिष्ट संस्था में अध्यापक अमित सिंह की नियुक्ति कर दी। इस नियुक्ति के संबंध में न तो जिला पंचायत और न ही आदिवासी विकास विभाग कुछ बतला पा रहा है।

नियमो की अनदेखी
विशिष्ट विद्यालय का दर्जा प्राप्त एकलव्य आवासीय आदिवासी विद्यालय में अध्यापक संवर्ग का पद नही होने के बावजूद अमित सिंह की नि युक्ति कर दी गई, इत ना ही नही अमित प्रताप सिंह ग्रामीण क्षेत्र में पदस्थ थे उन्हे शहरी  क्षेत्र में पदस्थ नही किया जा सकता। सिर्फ इतना ही नही व्याख्यता के पद के विरूद्ध पदस्थापना की जाकर वेतन का आहरण कहा से और कैसे किया जाएगा इसका भी जवाब दे पाने में प्रशासन असमर्थ रहा है। एकलव्य विद्यालय में पूर्व से ही गणित संकाय के दो शिक्षक पदस्थ है बावजूद इसके कम योग्यता और अहरता वाले अध्यापक को एकलव्य विद्यालय में पदस्थापित कर अभयदान दिया जा रहा है। इस सम्बध मे कलेक्टर एन.एस.परमार से पूछा गया तो कहाँ कि एकलव्य विद्यालय के प्राचार्य की अनुशंसा पर अमित सिंह की पदस्थापना की गई है, यदि किसी को भी आपत्ति है तो वह शिकायत कर सकता है। जरहा में शिक्षक की व्यवस्था की जाएगी।

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