कैबिनेट के फैसले भी RTI के दायरे में

तिरुअनंतपुरम। दूरगामी असर वाले फैसले में केरल के मुख्य सूचना आयुक्त ने व्यवस्था दी है कि कैबिनेट फैसले भी सूचना का अधिकार कानून (आरटीआइ) के दायरे में आते हैं। शासन में पारदर्शिता के लिहाज से यह फैसला बेहद अहम माना जा रहा है।

सूबे के मुख्य सूचना आयुक्त विंसन एम. पॉल ने मंगलवार को आरटीआइ अर्जियों का निस्तारण करते हुए सरकार को अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर मंत्रिमंडल में लिए गए फैसलों को डालने का सुझाव भी दिया। आयोग ने राज्य सरकार को 10 दिन के भीतर पिछली एक जनवरी से तीन माह के अंदर हुए मंत्रिमंडल (कैबिनेट) के सभी फैसलों को सार्वजनिक करने का निर्देश दिया है।

खास बात यह है कि पॉल हाल ही में पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) स्तर के पद से सेवानिवृत्त हुए हैं। राज्य विधानसभा चुनाव के ठीक पहले उन्हें केरल का सीआइसी नियुक्त किया गया था। बता दें कि केरल की पूर्ववर्ती ओमन चांडी सरकार ने कहा था कि राज्य मंत्रिमंडल के फैसलों पर अमल के बाद ही उन्हें सार्वजनिक किया जा सकता है। केरल की नवनिर्वाचित पी. विजयन के नेतृत्व वाली नई सरकार ने कैबिनेट के फैसलों से जुड़ी आरटीआइ याचिकाएं ठुकरा दी थीं। इससे आरटीआइ कार्यकर्ताओं में बेहद नाराजगी थी।

अपनी समस्या के समाधान के लिए उन्होंने सीआइसी से संपर्क किया। सीआइसी ने व्यवस्था दी कि राज्य मंत्रिमंडल के फैसलों को 48 घंटों के अंदर सरकार को अपनी वेबसाइट पर प्रकाशित करने पर विचार करना चाहिए।

पॉल ने यह व्यवस्था ऐसे समय दी है, जब मुख्यमंत्री विजयन ने साप्ताहिक कैबिनेट की बैठक के बाद होने वाली प्रेस ब्रीफिंग की परंपरा भी समाप्त कर दी है। गत 25 मई को मुख्यमंत्री पद की जिम्मेदारी संभालने के बाद से विजयन ने कैबिनेट बैठक के बाद सिर्फ एक ही प्रेस ब्रीफिंग की है।

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