![](https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEiHsIFwVcnfdco2WlyJOTAsS4TJcqNvfOrBfAYCta-Pb7Ey3skBq0dbvcMUuEktEJxwcObMHayfQgUguflSjGGmZK24lB5RBGSz3-0K8m1yvbcacMSJzaiurUS63EO7pvaIzOmzGOObn0s/s1600/55.png)
जानकारी के मुताबिक, माचलपुर निवासी श्यामबाबू मेवाड़े और उसकी पत्नी सुनीता ने चार पन्नों का सुसाइड नोट लिखने के बाद जहर खा लिया। तबियत बिगड़ने पर उन्हें तुरंत अस्पताल ले जाया गया, जहां उनका गंभीर हालत में इलाज जारी है। बताया जा रहा है कि श्यामबाबू को होश आ गया है, लेकिन सुनीता अभी तक होश में नहीं आई है।
सुसाइड नोट में बयां किया दर्द
श्यामबाबू मेवाड़े और उसकी पत्नी सुनीता ने सुसाइड नोट में परिजनों के साथ ही कलेक्टर तरुण पिथौड़े को आरोपी बनाने की मांग की है। दंपति ने सुसाइड नोट में अपना दर्द बयां करते हुए लिखा, 'श्रीमान कलेक्टर महोदय जो राय आपने हम को दी वो किसी और गरीब को मत देना, ताकि हमारी तरह उनका भी घर परिवार न उजड़े। अगर आप मेरी जनसुनवाई करते तो हमें आत्महत्या करने जैसा कदम नहीं उठाना पड़ता।
मुझे बाजार में सात लाख रुपए का कर्ज देना है। पिता की मृत्यु के बाद मां श्यामाबाई, रीना, टीना, रामबाबू, दीनेश जमाई और डॉक्टर जगदीश राठौर ने बड़े भाई को अनुकंपा और मुझे जमीन देने की बात कही थी, लेकिन वो लोग मुकर गए।'
अपनी इस परेशानी को लेकर ही पीड़ित शिकायती आवेदन लेकर जनसुनवाई में पहुंचा था, लेकिन वहां से उसे जो राय दी गई, उसे सुनने के बाद उसने पत्नी संग जहर खा लिया। वहीं मामले में कलेक्टर तरुण पिथौड़े का कहना है कि उन्होंने श्यामबाबू की सुनवाई नहीं की है। उन्होंने कहा कि इस मामले में जांच करवाई जा रही है कि किसने दंपति को ऐसा कुछ कहा कि वो आत्महत्या करने पर मजबूर हो गए।