
परीक्षा में हुई नकल के हालिया मामले और बिहार में फर्जी टॉपर्स के मामले में रघुबीर दास ने 27 जून को टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा था कि पड़ोसी राज्य के छात्र झारखंड के एजुकेशन हब में पढ़ाई पूरी करके अपने कॅरियर और अपनी विश्वसनीयता को बचा सकते हैं।
गोविंदपुर में RS More College के छात्रों को 9 जुलाई को कक्षा 11 की परीक्षा पेड़ों के नीचे देते हुए देखा गया था। इस दौरान कैंपस परिसर में मौजूद ये छात्र किताबें लेकर परीक्षा में पूछे गए सवालों के जवाब लिख रहे थे।
इस मामले में झारखंड एकेडमिक काउंसिल (JAC) के डिप्टी चेयरमैन फूल सिंह ने कहा कि मुझे बड़े पैमाने पर नकल किए जाने की बात समाचार पत्रों के माध्यम से पता चली है। इस ममाले में जिम्मेदार लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
JAC की स्थापना सेकंड्री स्कूल और इंटरमीडिएट की परीक्षा लेने के लिए की गई थी। इसके साथ ही वह परीक्षा के लिए पाठ्यक्रम भी तय करती है। कॉलेज के एक प्रोफेसर ने कहा, केंद्र पर इंटरमीडिएट की परीक्षा परीक्षा में नकल करने की इजाजत देकर कॉलेज ने बिहार परीक्षा बोर्ड की बदनामी को भी पीछे छोड़ दिया है।
पांच से छह छात्र सोमवार को एक बेंच पर बैठकर किताब से नकल कर रहे थे। वहीं, अपने बेटे की जगह एक पिता को परीक्षा के जवाब लिखते हुए देखा गया था। फूल सिंह ने कहा कि यह एक गंभीर मामला है और इसकी जांच करके जिम्मेदारों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।