नईदिल्ली। अल्बर्ट आइंस्टीन को कौन नहीं जानता। तेज दिमाग के इस वैज्ञानिक को दुनिया का सबसे महान वैज्ञानिक माना जाता है। स्टीफन हॉकिंग इस श्रेणी के दूसरे महान वैज्ञानिक हैं लेकिन भारतीय मूल के 10 साल के एक बच्चे ध्रुव तलाती ने दोनों को पीछे छोड़ दिया है। ध्रुव का दिमाग इन दिनों महान वैज्ञानिकों से तेज चलता है। धुव्र ने मेंसा के इंटेलीजेंस टेस्ट में 162 का स्कोर है। जबकि दोनों महान वैज्ञानिकों का स्कोर 160 था और यह दुनिया में सबसे ज्यादा था।
धुव्र तलाती ने जुलाई 2016 में मेंसा का केटल III बी पेपर दिया था, जिसमें उन्होंने 162 का स्कोर किया। धुव्र ने आइंस्टीन और स्टीफन हॉकिंग के 160 से ज्यादा व्यक्तिगत स्कोर को पीछे छोड़ दिया है। और इस तरह ज्यादा स्कोर पाकर वह दोनो महान वैज्ञानिकों से आगे निकल गए हैं।
10 साल के धुव्र अब दुनिया के बुद्धिमान लोगों की कतार में शामिल हो गए हैं। बार्किंगसाइड में फुलुवड प्राइमरी स्कूल के छात्र धुव्र का कहना है कि,'टेस्ट मुश्किल नहीं था, बल्कि समय चुनौती बना।' मेंसा दुनिया की पुरानी और बड़ी हाई आईक्यू सोसाइटी है। धुव्र क्रिकेट और टेनिस भी बेहतरीन खेलते हैं, लेकिन बड़े होकर उनका रोबोटिक एक्सपर्ट बनने का सपना है।