नई दिल्ली। भारतीय स्टेट बैंक ने सातवें वेतन आयोग लागू होने के बाद केंद्रीय कर्मचारियों और सुरक्षा कर्मियों को मिलने वाले एरियर व वेतन वृद्धि के मद्देनजर होम लोन की नई स्कीमें लांच की हैं। इन कर्मचारियों को अब 75 साल तक की आयु तक के लिए कर्ज दिया जाएगा। स्कीमों में इन ग्राहकों को लोन में रियायत मिलेगी।
बैंक ने सरकारी कर्मचारियों के लिए एसबीआइ प्रिवलेज होम लोम और सैन्य कर्मचारियों के लिए एसबीआइ शौर्य होम लोम स्कीम लांच की है। इनमें बैंक कोई प्रोसेसिंग फीस नहीं लेगा। बैंक इन स्कीमों में ग्राहकों को मौजूदा ब्याज दर में 0.05 फीसद की रियायत देगा।
केंद्र व राज्य सरकारों, सेनाओं और सार्वजनिक उपक्रम के कर्मचारियों और वेतनभोगियों को स्कीम में लोन दिया जाएगा। पेंशनभोगियों को लोन 70 के बजाय 75 साल की उम्र तक की अवधि के लिए दिया जाएगा। कर्ज की अवधि बढ़ने से कर्ज की किस्त कम देनी होगी।
बैंक अधिकारियों को ट्रेनिंग
फंसे कर्ज यानी एनपीए से परेशान एसबीआइ कई कदम उठाने जा रहा है। इसके तहत बैंक कर्ज मंजूर करने वाले अधिकारियों के लिए सर्टिफिकेशन प्रोग्राम चलायेगा। बैंक की प्रमुख अरुंधती भट्टाचार्य ने यहां एक कार्यक्रम के बाद संवाददाताओं को बताया कि हमने अधिकारियों के लिए यह प्रोग्राम शुरू किया है।
यह प्रोग्राम तीन साल तक चलेगा। इस प्रोग्राम को सफलतापूर्वक पूरा करने वाले अधिकारियों को 50 करोड़ रुपये तक का कर्ज देने का अधिकार होगा। इसी प्रोग्राम में लेवल-2 की परीक्षा पास करने वाले अधिकारियों को 500 करोड़ रुपये तक का कर्ज मंजूर करने की अनुमति दी जाएगी।