मऊ/उत्तरप्रदेश। अपनी किसान यात्रा के दौरान राहुल गांधी ने जिस गरीब दलित स्वामीनाथ के यहां रोटी खाई थी, उसने इस भोजन के प्रबंध के लिए कर्ज लिया था। राहुल आए, खाना खाया, समस्याएं पूछीं और चले गए। दलित तो उम्मीद थी कुछ मदद मिलेगी, लेकिन कुछ नहीं मिला। अब कर्ज चुकाने की समस्या उठ खड़ी हुई है।
उत्तर प्रदेश के मऊ जिले के बड़ागांव के स्वामीनाथ के घर में राहुल के लिए जो भोजन बना था, उसके लिए आटा उधार मांग कर लाया गया था। इस दौरान स्वामी नाथ से राहुल गांधी ने भी बात भी की थी। उनकी परेशानियां पूछी थी। स्वामीनाथ के परिवार के लोगों के बारे में, बच्चे क्या करते हैं, कर्ज है कि नहीं है पूरी जानकारी हासिल की थी।
स्वामी नाथ ने राहुल गांधी को बताया था कि उनके ऊपर कर्ज है। बच्चों ने गरीबी के कारण पढ़ाई छोड़ दी है। राहुल गांधी ने सबकुछ जानने का प्रयास किया लेकिन स्वामी नाथ से यह नहीं पूछा कि उन्हें जो भोजन स्वामीनाथ ने कराया है, उसकी व्यवस्था वह कहां से कर रहा है।
स्वामीनाथ ने आटा उधार लिया था। दूसरे सामानों के लिए उसने कर्ज लेकर पूरी व्यवस्था की थी। हालांकि स्वामी नाथ कहते हैं कि मैंने कर्ज लिया है, तो मैं कर्ज चुका दूंगा पर उनकी बातों से एक टीस साफ झलकती है कि राहुल गांधी आने वाले थे, तो कांग्रेसी नेताओं का जमावड़ा लग गया था, पर उनके चले जाने के बाद उनकी कोई सुनने वाला वाला नहीं है। स्वामी के परिवार और बस्ती के लोगों का मानना था कि राहुलजी उनकी बस्ती में आए हैं, तो उनका विकास होगा और बस्ती तरक्की करेगी।