
कुल मिलाकर अब तय हो गया है कि या तो सपा में मुलायम का अध्याय समाप्त हो जाएगा या फिर सपा 2 हिस्सों में बंट जाएगी और आगामी चुनाव वक्त से पहले आ जाएंगे।
मुलायम सिंह यादव ने 24 अक्टूबर को विधानमंडल दल और प्रत्याशियों की बैठक बुलाई, तो उसके एक दिन पहले मुख्यमंत्री ने विधायकों को अपने सरकारी आवास पर बुला लिया। तभी से लगने लगा था कि "तुरुप का इक्का" चलने की बात करने वाले अखिलेश रविवार को कोई बड़ा कदम उठा सकते हैं। आखिर में यही हुआ भी।
मुख्यमंत्री ने विधायकों से इस पूरे बवाल की जड़ में अमर सिंह के होने की बात करते हुए कहा कि उनके साथ रहने वाला व्यक्ति मेरे साथ नहीं रह सकता। उन्होंने बताया कि वह चाचा शिवपाल यादव समेत चार मंत्रियों को बर्खास्त करने का पत्र राजभवन भेजकर बैठक में आए हैं। कुछ देर बाद राज्यपाल राम नाईक ने मंत्रियों को पदमुक्त करने का आदेश भी जारी कर दिया।