
एरोड्रम पुलिस के अनुसार, मृतका का नाम मनीषा (18) था। वह स्कीम नंबर 155 में रहने वाले मामा अर्जुन उईके के यहां रहकर पढ़ाई करती थी। अर्जुन के मुताबिक, मनीषा के माता-पिता देवास स्थित ग्राम मिथा में रहकर मजदूरी करते हैं। वह आठवीं क्लास से इंदौर में उनके यहां रहकर पढ़ाई कर रही थी। उसके साथ बड़े भाई उदय की बेटी माया भी पढ़ती थी। बारहवीं में दोनों ने एक साथ परीक्षा दी।
माया को 77 प्रतिशत अंक आए, जबकि मनीषा को 50 प्रतिशत ही मिले। माया ने मेडिकल कॉलेज में ट्राई किया तो उसे महात्मा गांधी मेडिकल कॉलेज में फिजियोथेरेपी विभाग में एडमिशन मिल गया, जबकि प्रतिशत कम होने से मनीषा को न्यू जीडीसी में बीए सब्जेक्ट मिला। माया के एडमिशन और खुद के कम प्रतिशत से वह अकसर तनाव में रहने लगी। परिवार के कई लोगों ने समझाया, लेकिन वह मान ही नहीं रही थी।