
भारतीय प्रशासनिक सेवा के 82 बैच के अफसर श्री शर्मा ने दिसम्बर 2015 में ही मप्र में आमद दर्ज कराई थी। पहले ही शर्मा को राज्य सरकार ने विशेष आयुक्त मप्र भवन नई दिल्ली के पद पर पदस्थ किया था। शर्मा ने दिल्ली में ही उन्हें पदस्थ कराने के लिए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से मुलाकात भी की थी। सीएम ने भी उनकी भावनाओं का सम्मान करते हुए उन्हें मनपसंद पोस्टिंग दी। बाद में आरके चतुर्वेदी के केंद्र में प्रतिनियुक्ति पर जाने के बाद उन्हें आवासीय आयुक्त पद की भी जिम्मेदारी सौंप दी गई थी। दिल्ली में मप्र भवन का पूरा दायित्व मिलने के बाद शर्मा ने एक सप्ताह के अंदर ही वीआरएस का आवेदन सामान्य प्रशासन विभाग को भेज दिया था।
2010 से चल रही थी प्लानिंग
श्री शर्मा ने वर्ष 2010 में भी वीआरएस लेने का मन बनाया था। उन्होंने यह इच्छा जाहिर की थी। मामला सुर्खियों में आते ही उन्होंने कदम वापस खींच लिए और फिर मप्र में सेवा देने के बजाय उन्होंने प्रतिनियुक्ति पर जाना बेहतर समझा। इस दौरान उन्होंने 'सब्जीवाला' प्रोजेक्ट पर होमवर्क किया और उसे पहले से ज्यादा मजबूत कर लिया।