कारोबारी नोट नहीं बदलवा पाया तो फांसी पर झूल गया

Bhopal Samachar
भारत की राजधानी दिल्ली में एक कारोबारी ने इसलिए दुनिया को अलविदा कह दिया क्योंकि कई दिन कोशिश करने के बावजूद वो अपने पुराने नोट नहीं बदलवा पा रहा था। इस व्यापारी ने फ़्लैट खरीदने के लिए 12 लाख रुपए बचाकर रखे थे। मोदी सरकार के नोटबंदी के फैसले के बाद ये सारे नोट अमान्य हो गए जिससे उसे बड़ा झटका लगा था। व्यापारी पिछले 5 दिनों से इन्हें बदलने की कोशिश कर रहा था लेकिन जब ऐसा नहीं हो पाया तो उसने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।

दक्षिणी दिल्ली में खानपुर के राजूपार्क में किराए पर रह रहे 25 वर्षीय विरेंद्र कुमार बासोया का शव अपने कमरे में पंखे से लटकता मिला। दिल्ली पुलिस के अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त नूपुर प्रसाद ने बताया कि फिलहाल कोई सुसाइट नोट नहीं मिला है लेकिन उसने मरने से पहले अपनी परेशानी का कई दोस्तों से जिक्र किया था। पुलिस के अनुसार, विरेंद्र की इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों की दुकान थी और वह उधार रुपये भी देता था।

विरेंद्र की गर्भवती पत्नी रौनक ने बताया कि विरेंद्र अपना फ्लैट खरीदने के लिए बचा-बचाकर जुटाए गए 12 लाख रुपये मूल्य के पुराने अमान्य नोटों को न बदलवा पाने के कारण बेहद तनाव में चल रहा था। रौनक ने कहा, 'वह (विरेंद्र) रोज अलग-अलग बैंकों में जाते थे, लेकिन कहीं भी नोट बदले नहीं जा सके।' रौनक ने बतया कि विरेंद्र कुछ दिन पहले एक व्यक्ति के संपर्क में आया था जिसने 12 लाख रुपये बदलवाने के बदले चार लाख रुपये कमीशन की मांग की थी। रौनक ने बताया, 'पिछले सप्ताह ही हमने अपनी शादी की सालगिरह मनाई। वह मालवीय नगर में जल्द ही अपना फ्लैट खरीदने की योजना बना रहे थे, जिसके लिए वह पिछले साल से पैसे जुटा रहे थे।'

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