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ममता ने ट्विटर पर लिखा कि 'कुछ दिन पहले अरविंद केजरीवाल के प्रधान सचिव पर छापा मारा गया अब मैंने तमिलनाडु के प्रधान सचिव पर छापे के बारे में पढ़ा'. ममता ने इस कार्रवाई को अनैतिक और गलत कदम बताते हुए पूछा कि 'क्या इससे सिर्फ लोकतांत्रिक ढांचे को नुकसान नहीं होगा'. साथ ही उन्होंने लिखा कि भ्रष्टाचार की कड़ी निंदा की जानी चाहिए लेकिन केंद्रीय एजेंसी की ओर से प्रधान सचिव पर छापे से प्रशासानिक सेवा नाम की संस्था की छवि धूमिल होती है. जांच एजेंसी को छापा मारने से पहले राज्य सरकार को भरोसे में लेना चाहिए था. प्रधान सचिव को पद से हटाने के बाद ही कोई कार्रवाई की जानी चाहिए थी.
सरकार के अलावा बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह पर हमला बोलते हुए ममता बनर्जी ने कहा कि अमित शाह और अन्य लोगों पर छापे क्यों नहीं मारती जो धन जमा कर रहे हैं. नोटबंदी के बाद से ममता बनर्जी सरकार के खिलाफ सबसे मुखर आवाज बनकर हमला बोल रही हैं. दिल्ली और पटना में ममता ने सरकार के फैसले के खिलाफ विरोध प्रदर्शन भी किया था.