धनवान बनने के लिए अशुभ गुरू को शुभ कैसे बनाएं

Bhopal Samachar
पंडित चन्द्र शेखर। वर्तमान मे गुरु वित्त राशि कन्या मे है कन्या राशि को काल पुरुष का वित्त, बेंक, ऋण कहा जाता है। गुरु स्थान हानि करता है। वर्तमान मे बुध का क्षेत्र संचार (मिथुन) तथा वित्त (कन्या) की खराब हालत गुरु ग्रह की कन्या राशि मे उपस्थिति है। सितम्बर मे गुरु के तुला मे जाते ही दोनों क्षेत्र मे सुधार आयेगा।

गुरु बृहस्पति तथा युवराज बुध ग्रह आपसी शत्रु है। इसका कारण यह है की गुरु की स्वराशि मीन बुध की नीच राशि है। गुरु की राशि धनु मे बुध अच्छे परिणाम नही देता वही बुध की राशि मिथुन व कन्या मे गुरु ग्रह अशुभ परिणाम देता है ऐसा क्यों :

*एक कारण बुध ग्रह के जन्म की घटना है जिससे गुरु बुध को अपना पुत्र नही मानता।
*बुध विज्ञान, वाणी, तर्क का कारक ग्रह है अपने तर्क के लिये सारा ज्ञान ये गुरु से ही लेता है।
*गुरु सत्य, परम्परा, संस्कार का ग्रह होता है।
*इसे यूं समझ सकते हैं कि वकील वकालत का सारा ज्ञान किताबों व अपने गुरु से लेता है, लेकिन कोर्ट मे अपने फायदे के लिये उसी ज्ञान का गलत इस्तमाल भी करता है।
*बुध ग्रह की दो राशी है पहली मिथुन तथा दूसरी कन्या। एक राशि संचार के लिये जानी जाती है वही दूसरी बेंक, वित्त, आर्थिक व्यापार की कारक होती है।
*भारतीय ज्योतिष को समझना व उसका अनुमान लगाना थोड़ा कठिन अवश्य है पर मुश्किल नही। ज्योतिष व्यक्ति अपने सीमित संसाधनों से ज्योतिष पढ़ता भी है अनुसंधान भी करता है तथा अपनी दुनिया की गाड़ी भी चलाता है। जिसके कारण कई वार ज्योतिषियों को लालची, धोखेबाज़ तक कहा जाता है। सामान्य सी सोचने की बात है की परिवार तो सबका लगा हुआ है।
* ज्योतिष मे धन, शिक्षा, पुत्र तथा आशीर्वाद का कारक गुरु ग्रह को माना गया है। गुरु ग्रह जिस जातक की पत्रिका मे उत्तम स्थिति मे होता है वही धन धान्य ,परिवार पुत्र ,शिक्षा द्वारा उन्नति पाता है।
*आपकी कुंडली मे यदि गुरु अच्छा है तो आप कितने ही गरीब क्यों न हो गुरु कृपा से आप आर्थिक रुप से उन्नत हो जायेंगे।
*यदि गुरु सूर्य से अस्त, शनि से पीडित, राहु द्वारा ग्रस्त है तो आपका संचित धन भी चला जायेगा । 

शुभ गुरु 
गुरु ग्रह बड़प्पन का कारक होता है। मान सम्मान भी गुरु से देखा जाता है। जो व्यक्ति हर किसी को मान देता है अपने बढ़ो की इज्जत करता है उसका अशुभ गुरु भी शुभ हो जाता है। गुरु के शुभ होते ही धन बढ़ता है।
जो व्यक्ति किसी को खाना खिलाता है उसका गुरु भी शुभ होता है।
किसी से शिक्षा, सलाह व ज्ञान अर्जित कर उसे दक्षिणा देकर आशीर्वाद पानी वाले का गुरु शुभ होता है।

अशुभ गुरु
* अपमान करना या नीचा दिखाने से गुरु अशुभ होता है। बड़े ,बुजुर्गो को तकलीफ देने सॆ भी गुरु भयानक रुप सॆ पीडित होता है।
*आजकल हर परिवार मे शादी के बाद बढ़ो का अपमान किया जाता है। सम्पति लेने के लिये छल किया जाता है। कई जगह सम्पति मिलते ही बुजुर्गो का अपमान किया जाता है।
*ध्यान रहे यदि बुजुर्ग पीडित होते है तो आपकी वंशवृद्धि रुकेगी, व्यापार मे घाटा होगा साथ ही रखा हुआ धन भी चला जायेगा।
पंडित चन्द्र शेखर नेमा "हिमांशु"
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