अनिल शर्मा/भिंड। उसने सुना था कि कोर्ट में लोगों को न्याय मिलता है। उसे भी न्याय चाहिए था इसलिए चल दी पैदल पैदल। पूरे 10 किलोमीटर सफर तय करने के बाद कोर्ट जा पहुंची 12 वर्षीय दीपा ने जब अपना दर्द बयां किया तो वहां मौजूद सारे वकील उसकी मदद को आगे आ गए। फिर उसे एसपी आॅफिस भेजा गया।
12 साल की दीपा अपने पिता जगरुप और मां अनीता के साथ रहती है। दीपा के पिता शराब पीने का आदी हैं और अक्सर शराब पीकर दीपा की मां के साथ मारपीट करते हैं। अपनी मां का दुख दीपा से देखा नहीं गया और उसने अपनी मां को इंसाफ दिलाने का फैसला ले लिया। दीपा ने सुना था कि कोर्ट में लोगों को न्याय मिलता है और दोषियों को सजा मिलती है। लिहाजा दीपा ने भी अपनी मां को न्याय दिलाने की ठानी और पैदल ही अपने गांव से 10 किमी का सफर तय करने भिंड कोर्ट के लिए निकल पड़ी।
रास्ते में दीपा ने लोगों से कोर्ट का रास्ता पूछा और पहुंच गई जिला न्यायालय। दीपा ने न्यायालय पहुंचकर अपनी पीड़ा वकीलों को सुनाई। वकीलों ने इस बच्ची का दुख सुना और इसकी सूचना पुलिस को दी। सूचना मिलने के बाद पुलिस जिला कोर्ट पहुंची और दीपा को लेकर एसपी ऑफिस आ गई. एसपी ने यहां दीपा की शिकायत सुनी। इसके बाद एसपी ने देहात थाने के टीआई को पूरे मामले की जांच करने के आदेश दिए।