नई दिल्ली। 4 राज्यों में चुनाव चल रहे हैं। करोड़ों रुपए पानी की तरह बहाए जाने हैं लेकिन तमाम प्रत्याशी परेशान हैं क्योंकि बैंक ने नगद निकासी की लिमिट मात्र 24 हजार ही रखी है। प्रत्याशियों को अतिरिक्त लाभ दिलाने के लिए चुनाव आयोग ने आरबीआई को पत्र लिखकर मांग की थी कि प्रत्याशियों की विथड्रॉल लिमिट 2 लाख रुपए प्रतिसप्ताह कर दी जाए लेकिन आरबीआई ने आयोग की चिट्ठी को नस्तीबद्ध कर दिया। अब प्रत्याशियों को बैंक से मनमाने नगदी पैसे नहीं मिल पाएंगे। स्वभाविक है या तो चुनाव प्रचार कैशलेस होगा या फिर कालाधन।
25 जनवरी को पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावो को देखते हुए चुनाव आयोग ने प्रत्याशियों को बड़ी राहत देने का फैसला किया था। इस फैसले के तहत चुनाव आयोग ने भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) को चिट्ठी लिखकर प्रत्याशियों को एक हफ्ते में 2 लाख रुपए निकालने की छूट देने को कहा था। अभी एक हफ्ते में अधिकतम 24 हजार रुपए निकाले जा सकते हैं, जिसको प्रत्याशियों को लिए दो लाख बढ़ाने की बात चुनाव आयोग ने कही थी।
पंजाब, उत्तर प्रदेश, मणिपुर, उत्तराखंड और गोवा में अगले महीने चुनाव है। इस समय चुनाव प्रचार जोरों पर है। विधानसभा का चुनाव लड़ रहे प्रत्याशी के लिए चुनाव आयोग ने 28 लाख रुपए की हद तय की है। पर नोटबंदी के बाद देश में कैश की भारी कमी है। ऐसे में प्रत्याशियों को भी दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। चुनाव आयोग ने प्रत्याशी को 28 लाख के खर्च की इजाजत दी है लेकिन बैंक उसे एक हफ्ते में 24 हजार रुपये ही दे रहा है। ऐसे में प्रत्याशी चुनाव खर्च के लिए रकम कहां से लाएं।