जबलपुर। सागर जिले के एक समाज सेवी श्री राजकुमार उर्फ़ भाईसाब श्रीवास्तव द्वारा वर्ष 2011 में हाई कोर्ट अधिवक्ता रामेश्वर सिंह ठाकुर, के माध्यम से एक याचिका दायर की गई थी उक्त याचिका में सुप्रीम कोर्ट द्वारा शिक्षा के अधिकार से संबंधित महत्वपूर्ण फैसलों में निर्धारित गाइड के अनुसार प्रदेश के समस्त सरकारी स्कूलों में शिक्षको की नियुक्त करने की मांग की गई थी। याचिका में रहली विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत नगर परिषद शाहपुर जिला सागर के सरकारी स्कूलों में अध्यनरत छात्रो एवं पदस्थापित शिक्षकों का हवाला दिया गया था। ज्ञातव्य हो कि 350 छात्रों वाले उच्चतर माध्यमिक स्कूल में मात्र 2 ही नियमित शिक्षको द्वारा अध्यापन कार्य कराया जा रहा है। याचिका में 4 जनवरी 2012 को हाईकोर्ट ने अनावेदको में प्रमुख सचिव स्कूल शिक्षा विभाग, डायरेक्टर पब्लिक इंस्ट्रक्शन भोपाल, जिला शिक्षा अधिकारी सागर, एवं प्रिंसिपल सरकारी स्कूल शाहपुर को नोटिस जारी कर जबाब तलब किया गया था।
दिनांक 4 दिसम्बर 2012 को समस्त आनावेदको की ओर से तत्कालीन जिला शिक्षा अधिकारी श्री आरएन शुक्ला ने अपने शपथपत्र पर हाई कोर्ट में जबाब प्रस्तुत कर, उन्होंने शाहपुर के समस्त सरकारी स्कूलों में शीघ्र ही समूचित शिक्षको की न्युक्ति करने आश्वासन दिया गया था एवं नियुक्त शिक्षकों का अभिलेख भी प्रस्तुत किया गया था।
याचिका पर आज 11 जनवरी 2017 को माननीय न्यायमूर्ति श्री संजय यादव द्वारा अंतिम सुनवाई करते हुए अधिवक्ता रामेश्वर सिंह द्वारा न्यायालय को बताया गया कि याचिका कर्ता का पुत्र उक्त स्कूल से पासआउट हो चुका है अब पिटीशनर का याचिका में व्यक्तिगत हित निहित नही रह गया है इसलिए इस याचिका को जनहितकारी याचिका में परिवर्तित करने की अनुमति दी। न्यायलय द्वारा आंशिक रूप से अधिवक्ता की प्रार्थना को कंसीडर करते हुए उक्त याचिका को अंतिम रूप से निराकृत करते हुए राज्य शासन को आदेशित किया गया की समस्त सरकारी स्कूलों में निर्धारित शिक्षको की पूर्ति करे।