अहमदाबाद। अगर गुजरात पुलिस इतनी सजग न होती, तो देश को नरेन्द्र मोदी जैसा प्रधानमंत्री नहीं मिल पाता। हमारी पुलिस उन जगहों पर और ऐसे मामलों में सफल रही है, जहां दूसरे राज्यों की पुलिस पूरी तरह विफल साबित हुई। यह कहना है डीजी वंजारा का। पूर्व आईपीएस अधिकारी वंजारा को गुजरात पुलिस के एनकाउंटर स्पेशलिस्ट के तौर पर जाना जाता था। वंजारा इशरत जहां के कथित फर्जी मुठभेड़ कांड में मुख्य आरोपी हैं और उन्हें स्पेशल सीबीआई कोर्ट से जमानत मिली हुई है।
हाल ही में एक सम्मान समारोह में वंजारा ने कहा, 'हमने कहा था कि इशरत जहां आतंकी थी, लेकिन किसी ने नहीं माना। जब एक आतंकी ने खुद स्वीकारा कि इशरत उनके संगठन की सदस्य थी तब सबने भरोसा किया। यह अजीब है। पुलिस कह रही थी इशरत के आतंकियों से संबंध थे, तो हम पर शक किया जा रहा था, जब पाकिस्तानी मूल के अमेरिकी आतंकी डेविड हेडली ने कहा कि मुंबई के खालसा कॉलेज की स्टूडेंट इशरत लश्कर-ए-तैयबा की वुमन विंग की सदस्य थी तो सबको यकीन हो गया।'
विभिन्न संस्थाओं और लोगों द्वारा अपना सम्मान किए जाने पर वंजारा बोले 'राज्य के 33 जिलों में से यह मेरा 30वें जिले में सम्मान समारोह है। राज्य की जनता ने, आपने मुझे मेरे काम के कारण अपनाया है। आप राज्य की पुलिस को इसलिए प्यार करते हैं क्योंकि हम उन जगहों पर सफल रहे हैं , जहां दूसरे राज्यों और देशों की पुलिस पूरी तरह असफल रही है। आतंकियों के निशाने पर हमेशा नेता होते हैं। पंजाब के नेता बेअंत सिंह आतंकियों का निशाना बन गए और पंजाब पुलिस उन्हें बचा नहीं पाई। देश की पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी आतंक की भेंट चढ गईं और दिल्ली पुलिस उन्हें बचाने में नाकामयाब रही। पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की जान आतंकियों ने ले ली और चेन्नै पुलिस उनकी रक्षा नहीं कर सकी।'