नई दिल्ली। केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों ने डिफेंस और सिक्योरिटी जवानों को दो वायरस के बारे में सचेत किया है। इन वायरस में गलत तरीके से एनडीए और एनआईए जैसे संगठनों का नाम लिया गया है, जो निजी जानकारी चुराने के साथ ही बैंकिंग इंफॉर्मेशन भी चुरा सकते हैं।
इस बारे में देश के रक्षा एवं सुरक्षा प्रतिष्ठानों को 30 दिसंबर को एक एडवायजरी जारी की गई थी। कहा गया था कि दो वायरस फाइल व्हाट्सऐप पर लगातार फैल रहे हैं। ये यूजर की निजी जानकारियां चुराने में सक्षम हैं, खासतौर पर जवानों की।
एडवायजरी में जिन दो फाइलों का जिक्र है, उनका नाम 'NDA-ranked-8th-toughest-College-in-the-world-to-get-into.xls' और 'NIA-selection-order-.xls' है। समझा जाता है कि वायरस वाली फाइल प्रमुखरूप से 'एमएस एक्सेल' फॉर्मेट में बनाई जाती है।
मगर, अधिकारियों ने एक उपयोगकर्ता के फोन और डाटा पर हमला करने के लिए 'एमएस वर्ड' या 'पीडीएफ' स्वरूपों में इनके फर्जी नाम रखने की आशंकाओं से इन्कार नहीं किया है। एडवायजरी में कहा गया है कि करप्ट वायरस फाइल को इस तरह से प्रोग्राम किया गया है कि यह गैरकानूनी तरीके से यूजर की निजी जानकारी, उनके लॉगिन की जानकारी और बैंकिंग डिटेल्स जैसे पासवर्ड या पिन नंबर को चुरा सकता है।
एनडीए और एनआईए देश के ऐसे दो संगठन हैं, जो देश-दुनिया में खासे लोकप्रिय हैं लोगों को इनके बारे में अधिक जानने की इच्छा रहती है। माना जा रहा है कि संभवतः इसीलिए इनके नामों का इस्तेमाल किया गया है। हालांकि, यह भी माना जा रहा है कि डिफेंस, पैरामिलेट्री औप पुलिस बलों के लोग इसके टार्गेट ग्रुप हो सकते हैं।