नई दिल्ली.दिल्ली के दिल कनॉट प्लेस में बना रीगल सिनेमा आज बंद हो जाएगा। मध्य दिल्ली के कनॉट प्लेस इलाके में स्थित रीगल का डिजाइन वास्तुकार वॉल्टर साइकेस जार्ज ने बनाया था और इसे वर्ष 1932 में खोला गया था रीगल के वास्तुकार थे वाल्टर स्काइज जॉर्ज, इसे वर्ष 1932 में खोला गया था। पचास के दशक में राजकपूर और नरगिस यहां आए थे, उन्हें यह थिएटर बहुत पसंद था। करीब 85 साल के अपने सिनेमा और नाट्य मंच के सुनहरे दौर को यादों की तरह अपने साथ लेकर ‘रीगल’ के दरवाज़े हमेशा के लिए दर्शकों के लिए बंद हो जाएंगे।
सिनेमाघर के मालिक इसे बंद करके दोबारा मल्टीप्लेक्स के रूप में रीगल को शुरू करने की योजना बना रहे थे. लेकिन नई दिल्ली नगरपालिका परिषद ने हाल ही में कनॉट प्लेस के सभी बिल्डिगों को नोटिस जारी कर उनसे बिल्डिंग का सेफ्टी सर्टिफिकेट मांगा था.
सिनेमाघर के मालिकों में से एक विशाल चौधरी ने पीटीआई को बताया कि प्रशंसकों के अनुरोध के बाद ही उन्होंने राजकपूर की फिल्में दिखाने का निर्णय लिया। जिस जगह पर रीगल स्थित है, वह प्रॉपर्टी आरंभ में मशहूर पत्रकार खुशवंत सिंह के पिता और दिल्ली के ठेकेदार सर सोभा सिंह की हुआ करती थी। इसे 1938 में दयाल परिवार को हस्तांतरित कर दिया गया जब वज़ीर दयाल, जिनके नाम पर दिल्ली के वज़ीराबाद पुल और क्षेत्र का नाम पड़ा है, यहां सीपीडब्लूडी में चीफ़ एक्जिक्यूटिव इंजीनियर बनकर आए थे।
दिग्गज अभिनेता रिषी कपूर ने आज बंद होने जा रहे दिल्ली के मशहूर सिनेमाघर रीगल को भावुक ढंग से अलविदा कहने के लिए ट्विटर का सहारा लिया. आठ दशक तक का सुनहरा दौर देख चुका यह सिनेमाघर आज से बंद हो रहा है.
सिनेमाघर के मालिकों ने आज अंतिम दिन रिषि कपूर के पिता राज कपूर की क्लॉसिक फिल्म ‘मेरा नाम जोकर’ और ‘संगम’ प्रदर्शित करने का फैसला किया है. उल्लेखनीय है कि अभिनेता के तौर पर रिषि कपूर की पहली फिल्म का प्रीमियर भी इसी रीगल सिनेमाघर में रखा गया था.
रिषि कपूर ने ट्विटर पर इस प्रतिष्ठित सिनेमाघर की एक तस्वीर साझा करने के साथ लिखा, ‘‘दिल्ली का एडियस रीगल थिएटर बंद हो रहा है. एक ऐसी जगह, जहां कपूर परिवार के सभी नाटक एवं सिनेमा प्रदशिर्त किये गये. ‘बॉबी’ का प्रीमियर भी यहीं हुआ था..धन्यवाद.’’ .
रीगल के मालिक विशाल चौधरी के अनुसार, रीगल सिनेमाघर का पृथ्वीराज कपूर और उनके पुत्र राज कपूर से गहरा जुड़ाव रहा. पृथ्वीराज कपूर अपने सभी नाटकों का मंचन यहां करते थे, जबकि राज कपूर ने यह सुनिश्चित किया कि उनकी सभी फिल्मों का प्रीमियर रीगल थियेटर में हो.