नई दिल्ली। मनोहर पर्रिकर के नेतृत्व में गोवा की बीजेपी गठबंधन सरकार ने विश्वास मत हासिल कर लिया है। बीजेपी गठबंधन के समर्थन में 22 और विपक्ष में 16 मत पड़े हैं। पणजी से बीजेपी विधायक सिद्धार्थ को फ्लोर टेस्ट के लिए गोवा विधानसभा का प्रोटेम स्पीकर नियुक्त किया गया था। इस वोटिंग के दौरान कांग्रेस नेता विश्वजीत राणे ने वॉक आउट किया। शक्ति परीक्षण के बाद गोवा के मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर ने कहा कि उनके साथ 23 विधायक हैं और 22 ने मतदान उनके पक्ष में किया। उन्होंने कहा कि एक स्पीकर भी हमारी ओर से था जिन्होंने वोट नहीं किया। मनोहर पर्रिकर ने कहा कि हमने किसी विधायक को किसी होटल में नहीं रखा किसी रिजॉर्ट में नहीं रखा। सभी ने अपनी मर्जी से मत दिया है।
उन्होंने कहा कि हमने भारत के लोगों से पहले साबित कर दिया है, हमें 23 विधायकों का समर्थन मिला है और हमने इसे फ्लोर पर साबित कर दिया है। दिग्विजय का दावा था कि उनके पास संख्या बल है और उनके पास शुरुआत से नंबर नहीं थे।
मंगलवार शाम को नौ मंत्रियों के साथ शपथ लेने वाले पर्रिकर के पास 22 विधायकों का समर्थन था जो 40 सदस्यीय विधानसभा में बहुमत के जादुई आंकड़े 21 से एक अधिक है। रक्षा मंत्री के पद से इस्तीफा देने वाले और चौथी बार गोवा के मुख्यमंत्री बनने के लिए घर वापसी करने वाले 61 वर्षीय पर्रिकर को अपने गठबंधन के सहयोगियों गोवा फारवर्ड पार्टी (जीएफपी), महाराष्ट्रवादी गोमंतक पार्टी (एमजीपी) और निर्दलियों के समर्थन का भरोसा है।
आईआईटी से पढाई करने वाले पर्रिकर की पार्टी के 13 विधायक हैं और उन्होंने जीएफपी, एमजीपी के अलावा दो निर्दलियों के समर्थन से कुल 21 सदस्यों के साथ रविवार को सरकार बनाने का दावा पेश किया था।
एक अन्य निर्दलीय विधायक ने बुधवार को गठबंधन को समर्थन दिया था जिससे यह संख्या बढकर 22 हो गई। सुप्रीम कोर्ट के निदेर्श के अनुसार, गोवा विधानसभा में शक्ति परीक्षण आज होगा। मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने के बाद पर्रिकर ने भरोसा जताया था कि उनकी सरकार स्थिर होगी और पांच साल का कार्यकाल पूरा करेगी।
उन्होंने कहा, सबको साफ कर दूं कि यह सरकार अपना कार्यकाल पूरा करेगी। उन्होंने कहा, मैं सहमत हूं कि जनादेश खंडित है। लेकिन अगर खंडित जनादेश का हर खंड एकसाथ आता है तो हम 22 हो जाएंगे। यह एकसाथ आकर चुनाव बाद गठबंधन है और क्षेत्रीय दलों ने बढत बनाई है, मैंने नहीं।