
अशोका गार्डन पुलिस के अनुसार अरविंद चौधरी केंद्रीय खाद्य आपूर्ति निगम में रीजनल मैनेजर हैं। इंडस्ट्रीयल एरिया में सेंट्रल वेयर हाउस का गोदाम है। मार्च 2015 में स्टाक खत्म होने पर गोदाम में गेहूं का नया स्टाक आया था। विजलेंस टीम को जानकारी मिली थी कि गोदाम से गेहूं घोटाला हुआ है। विजलेंस की टीम ने निरीक्षण किया था। स्टॉक में रखे गेहूं में से सोलह सौ क्विंटल गेहूं कम पाया गया जिसकी कीमत लगभग 22 लाख रुपए है। गोदाम में सुपरविजन ऑॅफिसर राजेश बाथम, मैनेजर विश्वजीत कोसंगे, असिस्टेंट मैनेजर रमेश बंसल सहित कर्मचारी कुशल एवं अनिल शर्मा से पूछताछ की। सभी घोटाले के संबंध में सही जानकारी नहीं दे सके।
दिसंबर 2015 में केंद्रीय खाद्य भंडारण निगम के रीजनल मैनेजर अरविंद चौधरी ने अशोका गार्डन में अमानत में खयानत की शिकायत की गई थी। पिछले सवा साल से आवेदन पर कार्रवाई लंबित थी। पुलिस का कहना है कि जांच चल रही थी। पुलिस ने जांच के बाद राजेश बाथम, विश्वजीत कोसंगे, रमेश बंसल, कुशल और अनिल शर्मा के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर लिया है। पुलिस का कहना है कि जल्द ही आरोपियों की गिरफ्तारी कर ली जाएगी। पुलिस को संदेह है कि आरोपियों ने गेहूं को फर्जी तरीके से व्यापारियों को बेच दिया है। जांच के बाद पुलिस फर्जीवाड़ा कर इस गेहूं की खरीदी करने वाले व्यापारियों के खिलाफ भी कार्रवाई कर सकती है। पुलिस का कहना है कि आरोपियों की गिरफ्तारी के बाद कई बड़े नामों का इस हेराफेरी के धंधे में शामिल होने की उम्मीद है।