नई दिल्ली। श्यामा प्रसाद मुखर्जी जिन्हे अब तक धर्म आधारित बंटवारा और कश्मीर में धारा 370 के प्रबल विरोधी माना जाता था, आज उनकी एक नई सूरत पेश की गई है। भाजपा के वरिष्ठ नेता रहे त्रिपुरा के राज्यपाल तथागत रॉय ने एक ट्वीट करके जानकारी दी है कि श्याम प्रसाद मुखर्जी भारत में गृहयुद्ध चाहते थे ताकि हिंदू मुस्लिम समस्या का एक बार में समाधान हो जाए। राष्ट्रपति चुनाव के ठीक पहले आए इस ट्वीट ने भाजपा के लिए नई मुसीबतें खड़ी कर दीं हैं। एक नई बहस शुरू हो गई है। स्वभाविक है इस विषय पर बयानबाजी भाजपा के लिए भारी ही पड़ेगी।
राज्यपाल रॉय ने 18 जून की रात श्यामा प्रसाद मुखर्जी की एक डायरी का वो अंश ट्वीट किया जिसमें उम्होंने हिंदू-मुस्लिम समस्या के अंत के लिए गृहयुद्ध की बात कही थी। इस ट्वीट के बाद तथागत रॉय ने कई और ट्वीट किए जिसमें उन्होंने अपने पहले टवीट को जायज बताया और उन लोगों को खरी-खोटी सुनाई जो इस वजह से उन्हें निशाने पर ले रहे थे। तथागत रॉय ने अपनी ट्वीट में लिखा था, ‘श्यामा प्रसाद मुखर्जी ने 10/1/1946 को अपनी डायरी में लिखा था- हिंदू-मुस्लिम समस्या गृह युद्ध के बिना हल नहीं हो सकती। काफी कुछ लिंकन की तरह!’
उनके इस ट्वीट के तुरंत बाद ही तरह-तरह प्रतिक्रियाएं आने लगीं। उन्हें ट्विटर पर लोगों ने निशाने पर ले लिया। उन पर आरोप लगाए गए कि वे सांप्रदायिक हिंसा भड़का रहे हैं। कई लोगों ने उन्हें तुरंत पद से हटाकर गि़रफ्तार करने की मांग भी कर डाली।Syama Prasad Mookerjee wrote in his diary on 10/1/1946: "The Hindu-Muslim problem won't b solved without a Civil War". So much like Lincoln!— Tathagata Roy (@tathagata2) June 18, 2017
इसके जवाब में रॉय ने दूसरा ट्वीट किया। इसमें उन्होंने लिखा, ‘कुछ लोग मुझे निशाने पर ले रहे हैं। कहा जा रहा है कि मैं गृह युद्ध की तरफदारी कर रहा हैं लेकिन कोई भी थोड़ा ठहरकर यह विचार नहीं कर रहा है कि मैं सिर्फ डायरी में लिखी बातों का उल्लेख कर रहा हूं। उसकी वकालत नहीं कर रहा हूं।’ उन्होंने इसके बाद लिखा, ‘मैंने 70 साल पहले बंटवारे से पूर्व कही गई बात का उल्लेख किया है जो भविष्यवाणी जैसी थी। उस वक्त यह भविष्यवाणी सात महीने बाद ही सच साबित हुई जब जिन्ना ने गृह युद्ध छेड़ दिया।’