यूं तो नौकरी की समस्या देश की सबसे बड़ी समस्या है और सरकारें वादे करने के बाद भी इस दिशा में कोई कदम नहीं उठा रहीं। प्राइवेट कंपनियों ने भी भर्तियां बंद कर दीं हैं। कुछ सेक्टर्स में तो छंटनी शुरू हो गई है लेकिन कुछ सेक्टर्स ऐसे भी हैं जहां अच्छी ओपनिंग आ रहीं हैं। आइए जानते हैं कहां कहां नई नौकरियां मिलने वालीं हैं। रिपोर्ट के मुताबिक फाइनेंशियल सर्विस का बहुत सारा काम कैशलैस है। नोटबंदी के बाद से मोबाइल वॉलेट का इस्तेमाल काफी बढ़ा है। बैंक और ब्रोकरेज फर्म अब डिजिटल बैंकिंग और फाइनेंशियल रिसर्च टीम बनाने की प्लानिंग कर रहे हैं। इन दोनों सेक्टर्स में रोजगार को बढ़ावा मिलेगा। इसमें जॉब ग्रोथ 10.57 फीसदी है।
हैल्थ एंड फार्मा
हैल्थ और फार्मा सेक्टर में रोजगार का प्रतिशत पिछले साल अक्टूबर से लेकर इस साल अप्रैल के बीच बढ़ा है। इन सेक्टर्स में काम करना इसलिए अहम है क्योंकि इसमें मल्टी नेशनल कंपनीज बड़े पैमाने पर फारेन इन्वेस्टमेंट करती हैं। सरकार की पहल से हैल्थकेयर में सुधार हो रहा है और नए एजुकेशनल इंस्टीट्यूट टेलैंटेड लोगों को आगे बढ़ाने के लिए तैयार हैं। इस सेक्टर में जॉब ग्रोथ 13.67 फीसदी है।
नॉलेज प्रोसेस आउटसोर्सिंग
इसे केपीओ इंडस्ट्री कहा जाता है। इसमें आने वाले फाइनेंशियल ईयर में तकरीबन डेढ़ लाख प्रोफेशनल्स को जॉब दी जा सकती है। डेटा एनालिटिक्स की हमेशा बनी रहने वाली डिमांड के अलावा डेटा साइंटिस्ट की पोस्ट की भी दरकार बनी है। इस सेक्टर में जॉब ग्रोथ 14.77 प्रतिशत है।
टेलीकम्युनिकेशंस
इस सेक्टर में बेहद कांपिटिशन का दौर चल रहा है। रिलायंस जियो के फ्री डेटा ऑफर्स लाने के बाद आइडिया और वोडाफोन मर्जर के चलते इस सेक्टर में जर्बदस्त कांपिटिशन चल रहा है।इसका फायदा जॉब खोजने वालों को मिल सकता है। यहां हायरिंग एक्टिविटी जोरशोर से चल रही है। इस सेक्टर में 11.18 फीसदी जॉब ग्रोथ है।
ई-कॉमर्स एंड टेक्नोलॉजी स्टार्टअप्स
2016 में आए नए मोड़ के बाद अब ई-कॉमर्स और टेक्नोलॉजी स्टार्टअप्स सेक्टर में ग्रोथ की भरपूर संभावना है। इस सेक्टर में नौकरियों के पद तैयार किए जा रहे हैं और हायरिंग शुरू हो चुकी है। नोटबंदी के बाद और जीएसटी की सुगबुगाहट के बीच इस सेक्टर में टैलेंटेंड कर्मचारियों की डिमांड बढ़ चुकी है।
मीडिया एंड इंटरटेनमेंट
यह ऐसा सेक्टर है जिसमें मल्टीप्लेक्स का विस्तार, केपिटल इन्वेस्टमेंट और बहुत सारे जॉब क्रिएट किए जाने की भरपूर संभावना है। अब तो सरकार भी देर तक सिनेमा हॉल को खोले रखने के पक्ष में है, जिसके चलते इस सेक्टर में नौकरियां बढ़ना ही है।
रिटेल
डी-मार्ट और अन्य रिटेलर्स की सक्सेसफुल ऑफरिंग के बाद अब मार्केट में बने कांपिटिशन के चलते टैलेंटेड कर्मचारियों की डिमांड पैदा हुई है। जीएसटी के लागू होने के बाद इस सेक्टर में विकास होने की भरपूर संभावना है। इसके चलते नए जॉब क्रिएट किए जाएंगे, जिसका फायदा मिलना तय है।
इंर्फोमेशन टेक्नोलॉजी
लंबे समय से आईटी सेक्टर में मंदी का दौर चल रहा है। अमेरिका की सरकार की पॉलिसी और ऑटोमेशन के चलते आईटी सेक्टर मिलेजुले प्रभावों में है। अब अधिक से अधिक आईटी कंपनियां अपने वर्कफोर्स को बढ़ाने के लिए इंफोसिस की तर्ज पर काम कर रही हैं और टेक स्टार्ट अप्स के लिए नए टैलेंट की डिमांड कुछ समय के लिए थम गई है लेकिन अभी इसमें जॉब ग्रोथ 10.25 फीसदी है।