जबलपुर। मध्यप्रदेश राजधानी भोपाल स्थित प्रदेश की धरोहर बड़ा ताल के संरक्षण को लेकर मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने केन्द्र व राज्य शासन सहित अन्य को नोटिस जारी कर जवाब-तलब कर लिया है। इसके लिए 28 सितंबर तक का समय दिया गया है। हाईकोर्ट ने एनजीटी से ट्रांसफर हुए 9 प्रकरणों को संयुक्त रूप से सुने जाने की शुरुआत कर दी है। मामले भोपाल के तालाब में प्रदूषण, अतिक्रमण, अवैध निर्माण सहित कई संदर्भों से संबंधित हैं।
बुधवार को मुख्य न्यायाधीश हेमंत गुप्ता व जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की युगलपीठ के समक्ष मामले की सुनवाई हुई। यह मामला सुप्रीम कोर्ट के उस निर्देश पर इन-रिफरेंस बतौर हाईकोर्ट ट्रांसफर हुआ है, जिसके तहत विरासत की श्रेणी में आने वाले तालों संबंधी सभी राज्यों के प्रकरणों की सुनवाई एनजीटी के स्थान पर संबंधित हाईकोर्ट द्वारा किए जाने की व्यवस्था दी गई है। इस संबंध में सभी प्रदेशों की रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट में प्रस्तुत होगी। इसी सिलसिले में हाईकोर्ट ने एनजीटी से ट्रांसफर हुए 9 प्रकरणों को संयुक्त रूप से सुने जाने की शुरुआत कर दी है।
भोपाल के बड़ा ताल को लेकर दायर सभी मामलों में प्रदूषण, अतिक्रमण, अवैध निर्माण सहित अन्य बिन्दुओं पर शिकायतों के साथ संरक्षण पर विशेष बल दिया गया है। हाईकोर्ट ने केन्द्र व राज्य, पर्यावरण व वन मंत्रालय, केन्द्रीय व राज्य प्रदूषण नियंत्रण मंडल, कलेक्टर भोपाल सहित अन्य को नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया है। बुधवार को सुनवाई के दौरान राज्य की ओर से जवाब के लिए समय ले लिया गया।