इंदौर। इस बार देव प्रबोधिनी एकादशी (31 अक्टूबर) पर गुरु अस्त रहेगा। इसके चलते अबूझ मुहूर्त में से एक माने जाने वाली इस तिथि पर विवाह आदि मंगल कार्य नहीं हो पाएंगे। 10 अक्टूबर को अस्त हो चुके गुरु का उदय 11 नवंबर होगा लेकिन विवाह के शुद्ध मुहूर्त 19 नवंबर से हैं।
ज्योतिषाचार्य देवेंद्र कुशवाह के अनुसार ग्रह के देर से उदय होने के कारण विवाह के मुहूर्त 19 नवंबर से 10 दिसंबर तक रहेंगे। इसके बाद 14 दिसंबर को शुक्र सुबह 8.38 बजे अस्त हो जाएगा, जिससे एक बार फिर विवाह समेत शुभ कार्यों पर विराम लग जाएगा। वहीं 16 दिसंबर को सूर्य के धनु राशि में प्रवेश के साथ खर मास भी शुरू होगा जिसका समापन मकर संक्रांति को होगा।
115 दिन में 41 लग्न मुहूर्त
नवंबर में नौ : 19 से 24, 28 से 30 तक।
दिसंबर में छह : 3, 4, 5 व 8 से 10 तक।
फरवरी में चौदह : 7 से 12 और 18 से 20, 23 और 25 से 28 तक।
मार्च में तेरहः 1 से 13 तक लगातार।