इंदौर। BPN REAL ESTATE AND ALLIED LIMITED चिटफंड कंपनी के दो मकान और एक फ्लैट की कुर्की की कार्रवाई जिला प्रशासन द्वारा की गयी है। आरोप है कि कंपनी के संचालकों ने लोगों को प्लाट देने या ब्याज सहित रुपये लौटने के नाम पर 150 करोड़ रुपयों की धोखाधड़ी की है। इसकी शिकायत मिलने के बाद कलेक्टर ने यह कार्रवाई करने के आदेश दिए है।
शहर में कई चिटफंड कंपनिया संचालित हैं, जिन्होंने लोगों के साथ हजारों करोड़ की धोखाधड़ी की है। ऐसे में इस तरह की कंपनियों पर नकेल कसने के उद्देश्य से शहर में किसी चिटफंड कंपनी की संपत्ति कुर्क किये जाने की यह पहली कार्रवाई है। इसके साथ ही कंपनी की शहर में स्थित अन्य प्रॉपर्टी को भी जिला प्रशासन तलाश रहा है, मिलने पर उनकी भी कुर्की किये जाने की बात कही जा रही है।
कंपनी की धोखाधड़ी के शिकार हुए लोगों से प्लॉट या ब्याज सहित राशि लौटाने की बात कहकर रुपये लिए गए थे, लेकिन लम्बा समय गुजरने के बावजूद प्लॉट और रुपये नहीं मिलने पर पीड़ितों ने कलेक्टर को शिकायत की थी। कलेक्टर निशांत वरवड़े ने शिकायत के बाद कंपनी को नोटिस जारी कर बकायादारों की राशि लौटाने को लेकर सुनवाई कि थी। सुनवाई में कंपनी के संचालक न पहुंचते हुए वकील कलेक्टर के सामने पहुंचे थे।
कंपनी द्वारा संतुष्टि भरा जवाब नहीं दिये जाने पर कलेक्टर ने कंपनी की संपत्ति कुर्की के आदेश जारी किये, जिसके बाद तहसीलदार डीडी शर्मा ने कंपनी के डायरेक्टर संतोष शर्मा और मुकेश शर्मा का स्कीम 114 स्थित अमीरा केसल बिल्डिंग का फ्लैट नंबर 101 और संतोष शर्मा की पत्नी सुरेखा शर्मा के नाम स्कीम 114 में प्लॉट नंबर 222 और 302 पर बने दो मकानों को कुर्क कर दिया। कंपनी का एक मकान स्कीम 78 में होने की जानकारी भी प्रशासन को मिली है, जिसकी तलाश की जा रही है।
इसके आलावा सेंट्रल कोतवाली क्षेत्र की भी दो संपत्तियां भी जल्द ही कुर्क किये जाने की बात कही जा रही है। सम्पतियां कुर्क करने के बाद जिला प्रशासन कोर्ट के समक्ष केस रखेगा और सम्पतियों को नीलाम कर लोगों के रुपये लौटाने की मांग करेगा।