नई दिल्ली। सरकार अगस्त और सितंबर महीने के लिये शुरुआती जीएसटी रिटर्न भरने में देरी को लेकर कंपनियों से जुर्माना नहीं वसूलेगी। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने ट्विटर पर लिखा है, करदाताओं को सुविधा देते हुए जीएसटीआर-3बी भरने के लिये विलम्ब शुल्क को समाप्त कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि कंपनियों से जो विलम्ब शुल्क (लेट फी) पहले ही लिये जा चुके हैं, उसे उनके खातों में वापस कर दिया जाएगा। इससे पहले, सरकार ने माल एवं सेवा कर (जीएसटी) व्यवस्था के तहत जुलाई महीने के रिटर्न फाइल करने में देरी को लेकर लगने वाले शुल्क को समाप्त कर दिया था। कंपनियों की यह मांग रही है कि सरकार 3बी रिटर्न भरने में देरी को लेकर लगने वाले जुर्माने को समाप्त करे।
क्या कहते हैं आंकड़े
आंकड़ों के अनुसार जुलाई के लिये 55.87 जीएसटीआर-3बी भरे गये। वहीं अगस्त और सितंबर के लिये क्रमश: 51.37 लाख और 42 लाख रिटर्न दाखिल किये गये। उचित कर के भुगतान के बाद संबंधित महीने के लिये शुरूआती रिटर्न जीएसटीआर-3बी अगले महीने की 20 तारीख तक भरा जाना है। जीएसटी नेटवर्क (जीएसटीएन) के पास उपलब्ध आंकड़े के अनुसार भारी संख्या में कंपनियों ने निश्चित तारीख खत्म होने के बाद रिटर्न भरे।
जुलाई-अगस्त में कितना रिटर्न
जुलाई महीने के लिये केवल 33.98 लाख रिटर्न भरे गये, वहीं बाद में यह संख्या बढ़कर 55.87 लाख तक पहुंच गयी। इसी प्रकार, अगस्त महीने में 28.46 लाख रिटर्न अंतिम तारीख तक भरे गये लेकिन बाद में यह आंकड़ा 51.37 लाख पहुंच गया। सितंबर महीने में यही स्थिति रही। अंतिम तारीख तक 39.4 लाख रिटर्न फाइल किये गये जबकि कल तक संख्या बढ़कर 42 लाख पहुंच गयी।
इतना जुर्माना लगाने का प्रावधान है
जीएसटी कानून के तहत रिटर्न फाइल करने और कर भुगतान में देरी के लिये केंद्रीय जीएसटी के मामले में 100 रुपये प्रति दिन और राज्य जीएसटी के मामले में भी उतनी ही राशि बतौर जुर्माना लगाये जाने का प्रावधान है।