नई दिल्ली। फिल्म पद्मावत और क्षत्रिय समाज को लेकर भारतीय जनता पार्टी के 2 चेहरे सामने आ रहे हैं। मध्यप्रदेश में भाजपा सरकार ने आज तक फिल्म को प्रदर्शित होने ही नहीं दिया तो झारखंड में भाजपा सरकार ने फिल्म का विरोध करने वाले क्षत्रिय समाज के लोगों को सबक सिखाने के लिए प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज करवा दिया। झुमरी तिलैया के पूर्णिमा टॉकिज के सामने पुलिस ने प्रदर्शनकारी राजपूत समाज पर जमकर लाठियां भांजी। प्रदर्शनकारी फिल्म के दर्शकों से विवाद कर रहे थे। पुलिस ने उन्हे दौड़ा-दौड़ाकर पीटा और करीब एक दर्जन क्षत्रिय नेताओं को गिरफ्तार कर लिया है।
दंडाधिकारी ने दर्ज कराई FIR
इस मामले में दंडाधिकारी रत्नेश कुमार द्वारा थाने में मामला दर्ज कराया गया है। उल्लेखनीय हो कि फिल्म पद्मावत का क्षत्रिय समाज शुरू से ही विरोध कर रहा है। शुक्रवार से शहर के पूर्णिमा टॉकिज में फिल्म के प्रदर्शन की सूचना के बाद सैकड़ों की संख्या में क्षत्रिय समाज के लोग महाराणा प्रताप चौक पर एकत्रित हुए। यहां से जुलूस की शक्ल में टॉकिज गेट के समीप पहुंचे और धरना पर बैठ गए। समाज के लोग फिल्म को दिखाए जाने का विरोध कर रहे थे। मौके पर भारी संख्या में पुलिस बल तैनात की गई थी।
दर्शकों से की हाथापाई, फिर दंडाधिकारी को भी धमकाया
लोगों के विरोध के बावजूद सिनेमा हॉल में 11 बजे से शो शुरू किया गया। काफी संख्या में दर्शक फिल्म देख रहे थे। दोपहर करीब 2.40 बजे फिल्म समाप्त होने के बाद दर्शक जब बाहर निकलने लगे तो प्रदर्शनकारी उनसे उलझ गए। मौके पर तैनात एएसपी अजय पाल, वरीय पदाधिकारी कार्यपालक दंडाधिकारी संतोष सिंह सहित पुलिस कर्मियों ने लोगों को समझाने का प्रयास किया। इस दौरान प्रदर्शनकारी कार्यपालक दंडाधिकारी संतोष सिंह से भी उलझ गए।
पुलिस ने किया लाठीचार्ज, फिल्म का प्रदर्शन जारी रहेगा
इसके बाद भीड़ को हटाने के लिए पुलिस को लाठी चार्ज करना पड़ा। करीब 15 मिनट तक पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को खदेड़-खदेड़कर पीटा। थोड़ी देर के लिए सिनेमा हॉल में भगदड़ की स्थिति बन गई। वहीं, करीब एक दर्जन लोगों को गिरफ्तार कर अपने साथ थाने ले आई। सिनेमा हॉल के प्रबंधक ने बताया कि फिल्म का प्रदर्शन जारी रहेगा। प्रबंधक की ओर से पुलिस प्रशासन से सुरक्षा की मांग की गई है।