भोपाल। शिक्षा के अधिकार (आरटीई) के तहत जिले के विभिन्न सरकारी स्कूलों के 300 शिक्षकों को प्राइवेट स्कूलों में मॉनीटरिंग के लिए नोडल अधिकारी के रूप में लगाया गया है। जिसमें एक स्कूल से करीब 5 से 6 शिक्षकों को लिया गया है। इस संबंध में शिक्षकों को मॉनीटरिंग की ट्रेनिंग देने के लिए सोमवार को बीआरसी में प्रशिक्षण हुआ। जिससे कुछ शिक्षकों ने नाराजगी व्यक्त की। उनका कहना है कि अभी परीक्षा में समय है, ऐसे में छात्र-छात्राओं की पढ़ाई प्रभावित हो रही है।
इस संबंध में तुलसीनगर स्थित नवीन कन्या हायर सेकंडरी स्कूल के शिक्षक ने नाराजगी जताई कि आरटीई की ट्रेनिंग और मॉनीटरिंग से बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है। जिला शिक्षा अधिकारी का कहना है कि जिले में 1000 प्राइवेट स्कूल है। ऐसे में सभी प्राइवेट स्कूलों में 25 फीसदी सीटों पर हो रहे नामांकन प्रक्रिया की पारदर्शिता और बच्चों को स्कूल में मिल रही सुविधाएं, पढ़ाई का स्तर आदि की मॉनीटरिंग सरकारी स्कूल के शिक्षक करेंगे।
वहीं नवीन कन्या स्कूल की प्राचार्य का कहना है कि प्राइमरी व मीडिल मिलाकर 24 शिक्षक हैं और हायर क्लासेस के लिए 17 शिक्षक हैं। इसमें से 5 शिक्षकों को मॉनीटरिंग के लिए लगाया गया है तो वह भी जरूरी है। इससे थोड़ा फर्क पड़ता है, लेकिन व्यवस्था कर लेते हैं।
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जिले में 300 शिक्षकों को आरटीई के मॉनीटरिंग के लिए लगाया गया है। इसमें एक घंटे के लिए एक स्कूल का निरीक्षण करना है। इससे स्कूल की पढ़ाई प्रभावित होगी, ऐसा नहीं है।
धर्मेन्द्र शर्मा, जिला शिक्षा अधिकारी