
इस कलयुगी शिक्षक की वहशियत से बच्चे की ऐसी हालत हो गई थी कि उसे उठने-बैठने में भी दर्द होता था। बच्चे ने अपने पिता को दर्द की बात तो बताई, लेकिन ये नहीं बताया कि दर्द किस वजह से हो रहा है। बच्चे ने बताया कि डॉक्टर दवा दे देता था तो दर्द कम हो जाता था, लेकिन जब शिक्षक गंदा काम करते थे तो फिर से दर्द बढ़ जाता था।
तीन साल से शारीरिक शोषण का शिकार हो रहे इस छात्र ने डर की वजह से किसी को भी अपने साथ होने वाली इस हैवानियत की जानकारी नहीं दी। लेकिन, तीन साल तक जब ये सिलसिला चलता रहा और छात्र की तबीयत खराब रहने लगी तब उसने अपने दोस्त को इसकी जानकारी दी। फिर दोस्त के कहने पर पीड़ित छात्र ने चाइल्डलाइन को फोन करके अपने साथ हो रही हैवानियत के बारे में बताया। फिलहाल पुलिस इस मामले में कार्रवाई कर रही है जबकि स्कूल के प्राचार्य ने विभागीय कार्रवाई करते हुए शिक्षक के निलंबन का प्रस्ताव शिक्षा विभाग में भेज दिया है।